Sunday, February 23, 2025
Google search engine
HomeLife Styleकब है माघ अमावस्या? किस समय करें स्नान, तर्पण और दान? बन...

कब है माघ अमावस्या? किस समय करें स्नान, तर्पण और दान? बन रहा सर्वार्थ सिद्धि योग, जानें महत्व


हाइलाइट्स

9 फरवरी शुक्रवार को 08ः02 एएम पर माघ कृष्ण अमावस्या तिथि शुरू हो रही है.
यह तिथि 10 फरवरी शनिवार को 04ः28 एएम पर समाप्त होगी.
पर्व या त्योहार वाले दिन पवित्र नदियों में स्नान ब्रह्म मुहूर्त से ही प्रारंभ हो जाता है.

इस समय माघ का महीना चल रहा है. उसमें कृष्ण पक्ष है. माघ माह के कृष्ण पक्ष की 15वीं तिथि यानी अमावस्या को माघ अमावस्या के नाम से जानते हैं. इसे मौनी अमावस्या या माघी अमावस्या भी कहते हैं. माघ अमावस्या के दिन सुबह में स्नान करते हैं और उसके बाद पितरों के लिए तर्पण करते हैं. स्नान के बाद दान करने का बड़ा महत्व है. वैसे भी सभी 12 अमावस्याओं में माघ अमावस्या या मौनी अमावस्या का बड़ा महत्व है. आइए जानते हैं कि माघ अमावस्या कब है? माघ अमावस्या का स्नान, तर्पण और दान का समय क्या है? माघ अमावस्या का महत्व क्या है?

किस दिन है माघ अमावस्या 2024?

काशी के ज्योतिषाचार्य चक्रपाणि भट्ट बताते हैं कि 9 फरवरी शुक्रवार को 08ः02 एएम पर माघ कृष्ण अमावस्या तिथि शुरू हो रही है और यह तिथि 10 फरवरी शनिवार को 04ः28 एएम पर समाप्त होगी. ऐसे में माघ अमावस्या 9 फरवरी शुक्रवार को है.

माघ अमावस्या 2024ः किस समय करें स्नान?

किसी भी पर्व या त्योहार वाले दिन पवित्र नदियों में स्नान ब्रह्म मुहूर्त से ही प्रारंभ हो जाता है. इस समय प्रयागराज में माघ मेला भी चल रहा है, उस दृष्टि से भी माघ अमावस्या का स्नान विशेष महत्व वाला है. माघ अमावस्या के दिन आप ब्रह्म मुहूर्त में 05ः21 एएम से स्नान प्रारंभ कर सकते हैं. उसके बाद यह पूरे दिन चलेगा. ब्रह्म मुहूर्त 05ः21 एएम से 06ः13 एएम तक है.

ये भी पढ़ेंः कब रखें सकट चौथ व्रत, सोमवार या मंगलवार को? क्या है सही तारीख, पूजा मुहूर्त, चंद्रोदय समय

माघ अमावस्या पर तर्पण कब करें?

माघ अमावस्या वाले दिन आप प्रातः 07ः05 एएम से अपने पितरों के लिए तर्पण करें तो अधिक फलदायी होगा. उस समय में सर्वार्थ सिद्धि योग होगा, जिसमें किए गए कार्य सफल होंगे. स्नान के बाद अपने पितरों के लिए जल, काले तिल और कुश से तर्पण दें. पितर खुश होकर आशीर्वाद देंगे, जिससे आपका जीवन सुखमय और सफल होगा.

माघ अमावस्या पर दान का समय?

माघ अमावस्या पर पितरों के लिए दान करना है तो आप तर्पण के बाद अनाज, फल, सब्जी, सफेद वस्त्र, तिल, गरम कपड़े, आदि का दान करें. यदि आप अपने निमित्त दान करना चाहते हैं तो माघ अमावस्या का स्नान करने के बाद सूर्य देव को जल से अर्घ्य दे दें. फिर अपनी क्षमता के अनुसार दान करें.

ये भी पढ़ेंः फरवरी में विवाह, गृह प्रवेश, मुंडन, जनेऊ, नई दुकान के लिए कब-कब है मुहूर्त? देखें शुभ समय वाला कैलेंडर

माघ अमवास्या 2024 शुभ मुहूर्त और योग

अभिजीत मुहूर्तः 12ः13 पीएम से 12ः58 पीएम तक
सूर्योदयः 07ः05 एएम पर
सूर्यास्तः 06ः06 पीएम पर
श्रवण नक्षत्रः प्रातःकाल से रात 11ः29 पीएम तक
सर्वार्थ सिद्धि योगः 07ः05 एएम से 11ः29 पीएम तक

माघ अमावस्या का महत्व क्या है?

माघ अमावस्या को मौनी अमावस्या के नाम से जानते हैं. इस दिन प्रयागराज के संगम में स्नान करने से सभी पाप मिटते हैं, पुण्य लाभ होता है, भगवान विष्णु का आशीर्वाद मिलता है और अंत में मोक्ष की प्राप्ति होती है. हर व्यक्ति को पूरे माघ में कम से कम एक बार या फिर माघ अमावस्या को प्रयागराज के संगम में स्नान करना चाहिए.

Tags: Astrology, Dharma Aastha, Religion 18



Source link

RELATED ARTICLES
- Advertisment -
Google search engine

Most Popular

Recent Comments