सनन्दन उपाध्याय/बलिया: तमाम प्रकार के मुरब्बे के स्वाद का आनंद तो आपने जरूर लिया होगा. लेकिन आज हम एक ऐसे मुरब्बा के बारे में आपको बताएंगे जिसकी पहचान न केवल लाजवाब स्वाद के कारण है. बल्कि शरीर के लिए भी काफी लाभकारी होता है. जी हां, हम बात कर रहे हैं सेब के मुरब्बे की. जो कई बीमारियों में लाभकारी सिद्ध होता है. आइए जानते हैं यह खास मुरब्बा कैसे बनता है और किन बीमारियों में कैसे काम करता है?
दुकानदार एस.पी गुप्ता ने कहा कि मेरी दुकान लगभग 40 साल पुरानी है. मैं अपने हाथों से अचार और मुरब्बा तैयार करता हूं. ठंड के मौसम के कारण सेब के मुरब्बे को लोग काफी पसंद कर रहे हैं. डॉ. प्रियंका सिंह ने कहा कि यह मुरब्बा शरीर के लिए काफी लाभकारी होता है. आयुर्वेद में इसका अच्छा उपयोग भी है.
ऐसे बनता है सेब का मुरब्बा
दुकानदार गुप्ता ने बताया कि सेब का मुरब्बा बनाने के लिए सबसे पहले सेब को छिला जाता है. उसके बाद इसकी अच्छे से गुदाई की जाती है. फिर चीनी की चासनी उस तरीके से बनाई जाती है, जिससे मधु के रूप में बदल जाए. इस चासनी में सेब को अच्छी तरह से पका लिया जाता है. लगभग यह पूरी प्रक्रिया 2 घंटे तक चलती है. चासनी के मधु जैसी होने पर मुरब्बा जल्द खराब नहीं होता. सालों साल तक यह मुरब्बा चलता है. यह बहुत स्वादिष्ट और शरीर के लिए फायदेमंद होता है. इसको लोग खाते भी हैं और घर के साथ बहुत दूर-दूर तक ले भी जाते हैं. इसकी कीमत 240 रुपए प्रति किलो है.
ये है एक्सपर्ट की राय
राजकीय आयुर्वेदिक चिकित्सालय नगर बलिया की चिकित्साधिकारी डॉ. प्रियंका सिंह ने कहा कि इसमें फाइबर की भरपूर मात्रा होती है. इसलिए पुराने से पुराने कब्ज की समस्या को भी ठीक कर देता है. मानसिक परेशानी की वजह से हो रहे तनाव को कम करता है और मन को शांत कर अच्छी नींद लाने में भी लाभकारी होता है साथ ही दाग-धब्बों और झुर्रियों से भी राहत मिलती है. इसमें एंटीऑक्सीडेंट और प्रोटीन पाया जाता है, जिससे त्वचा की रंगत में भी निखार आता है. हृदय के मांसपेशियों को मजबूत कर हाई ब्लड प्रेशर को भी कंट्रोल करता है. यह कोलेस्ट्रॉल को कम करने के साथ ही घबराहट, कमजोरी और बेचैनी में भी बेहद फायदेमंद होता है.
ये सतर्कता भी बेहद जरूरी
वैसे में इस मुरबे का प्रयोग प्रेगनेंट महिला और शुगर के रोगीयों को बिल्कुल नहीं करना चाहिए. इसके बीज को खाने से बचना चाहिए. इसका बीज शरीर के लिए फायदेमंद नहीं होता है. सही लाभ पाने के लिए इसका प्रयोग आयुर्वेद चिकित्सक से परामर्श से ही करें.
ये है लोकेशन
बलिया में मशहूर एस.पी गुप्ता अचार और मुरब्बा की दुकान है, जहां पर यह खास मुरब्बा मिलता है. सबसे प्राचीन दुकान ओक्डेनगंज पुलिस चौकी के पास में है. इसकी तीन शाखा भी है. एक जगदीशपुर में दूसरी नगर पालिका गेट के ठीक सामने. तीसरी दुकान कचहरी में अंबेडकर भवन के ठीक सामने है.
Disclaimer: इस खबर में दी गई दवा/औषधि और हेल्थ बेनिफिट रेसिपी की सलाह, हमारे एक्सपर्ट्स से की गई चर्चा के आधार पर है. यह सामान्य जानकारी है, न कि व्यक्तिगत सलाह. हर व्यक्ति की आवश्यकताएं अलग हैं, इसलिए डॉक्टर्स से परामर्श के बाद ही, कोई चीज उपयोग करें. कृपया ध्यान दें, Local-18 की टीम किसी भी उपयोग से होने वाले नुकसान के लिए जिम्मेदार नहीं होगी.
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FIRST PUBLISHED : January 11, 2024, 10:49 IST