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हाइलाइट्स
इस महत्वपूर्ण अभियान में शामिल नहीं होना गंभीर मामला, ऐसे नेताओं के खिलाफ एक्शन लिया जाएगा
कांग्रेस में लंबे समय से खाली पदों को भरने पर अब दिया जा रहा जोर, ताकि अभियान को बल मिल सके
जयपुर. कांग्रेस सांसद राहुल गांधी (Rahul Gandhi) की यात्रा के बाद उनके संदेश को जन-जन तक पहुंचाने के लिए शुरू हुआ हाथ से हाथ जोड़ो अभियान अभी गति नहीं पकड़ पा रहा है. इस अभियान के लिए ठीकठाक माहौल न बनने की बड़ी वजह बजट सत्र में विधायक-मंत्रियों की व्यस्तता तो रही ही, इसके साथ ही सांगठनिक नियुक्तियों के अभाव और आंतरिक गुटबाजी भी अभियान की रफ्तार में रोड़े बन रही है. इसे देखते हुए अब प्रदेश अध्यक्ष डोटासरा और सीएम ने अभियान तो तेज करने का बीड़ा उठाया है.
विधानसभा चुनाव से पहले कांग्रेस की नीतियों, राहुल गांधी के संदेश और प्रदेश सरकार की कल्याणकारी नीतियों को घर-घर तक पहुंचाने के लिए पार्टी ने राहुल गांधी के निर्देश पर हाथ से हाथ जोड़ो अभियान पिछले माह शुरू किया था.
बजट सत्र और धड़ेबाजी से स्पीड पर लगा ब्रेक
कांग्रेस की ओर से 26 जनवरी को ‘हाथ से हाथ जोड़ो’ अभियान का आगाज किया गया. प्रदेश अध्यक्ष गोविंद सिंह डोटासरा ने कहा कि कांग्रेस कार्यकर्ताओं को एकजुट होने का संदेश दिया गया, ताकि वे अपने-अपने क्षेत्र में लोगों को जोड़ने का काम कर सकें. यह अलग बात है कि प्रदेश स्तर पर कांग्रेस गहलोत और पायलट के बड़े धड़ों के अलावा और भी ग्रुपों में बंटी हुई है. हाथ से हाथ जोड़ो अभियान पर ग्रुपबाजी के अलावा बजट सत्र की भी छाया पड़ी रही. दस फरवरी को विधानसभा में बजट पेश करने के बाद अब सीएम इस दिशा में सक्रिय हुए हैं. इसका प्रभाव आने वाले समय में देखने को मिल सकता है.
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संगठन में रिक्त पदों को अविलंब भरने की मांग
इसके अलावा कांग्रेस में पिछले लंबे समय से हजारों पद खाली पड़े हैं. कार्यकर्ता लगातार मांग कर रहे हैं कि सारे रिक्त पदों पर अविलंब भरा जाए, ताकि आगामी विधानसभा चुनाव को लेकर कार्यकर्ताओं की जिम्मेदारी तय हो सके. प्रदेश प्रभारी सुखजिन्दर सिंह रंधावा के सामने भी खाली पदों पर नियुक्तियों का मामला उठा था. तब रंधावा ने जल्द नियुक्तियों के निर्देश दिए थे. इसके बाद जनवरी में कुछ नियुक्तियां हुईं. कांग्रेस के प्रदेशाध्यक्ष गोविंद सिंह डोटासरा के मुताबिक 29 जनवरी को 77 और ब्लॉक अध्यक्षों की नियुक्ति की गई है. इन ब्लॉक अध्यक्षों को तुरंत ‘हाथ से हाथ जोड़ो’ अभियान को गति प्रदान करने के निर्देश दिए गए हैं.
प्रदेश में सात हजार से अधिक पदयात्राएं निकालीं
प्रदेश कांग्रेस नेतृत्व का हालांकि दावा है कि राहुल गांधी का संदेश आम जन तक पहुंचाने के लिए प्रदेश में अब तक 7500 से अधिक रैलियां निकाली जा चुकी हैं. एआईसीसी के निर्देशानुसार जनप्रतिनिधियों को हाथ से हाथ जोड़ो यात्रा में शामिल होना अनिवार्य किया गया है. इसके चलते पार्टी पदाधिकारियों के साथ ही मंत्री और विधायक भी इसमें शामिल हो रहे हैं. कोटा में कैबिनेट मंत्री शांति धारीवाल, भीलवाड़ा के मांडल क्षेत्र में राजस्व मंत्री रामलाल जाट, जयपुर में चाकसू विधायक वेद प्रकाश सोलंकी समेत कई जिलों में पदयात्राएं निकालीं गईं.
अभियान में शामिल न होने पर सख्त एक्शन होगा
कांग्रेस ने हाथ से हाथ जोड़ो अभियान का प्रभारी वरिष्ठ नेता आरसी खूंटिया को बनाया है. उन्होंने सभी कांग्रेस कार्यकर्ताओं और नेताओं से अभियान को सफल बनाने का आह्वान किया और साथ ही चेतावनी भी दी कि जानकारी के बावजूद यदि पार्टी का कोई नेता, पदाधिकारी, विधायक, सांसद या मंत्री पार्टी के इस महत्वपूर्ण अभियान में शामिल नहीं होता है तो यह गंभीर मामला होगा. ऐसे नेताओं के खिलाफ सख्त एक्शन लिया जाएगा. उन्होंने कहा कि अभियान के दौरान कांग्रेस का हर कार्यकर्ता और पदाधिकारी क्षेत्र के मतदाताओं के घर-घर जाकर राज्य सरकार की योजनाओं और कांग्रेस की विचारधारा के साथ ही राहुल गांधी का संदेश से सबको अवगत कराएंगे.
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Tags: Ashok Gehlot Government, Budget, Congress leader Rahul Gandhi, Congress politics, Jaipur news, Rajasthan news in hindi
FIRST PUBLISHED : February 15, 2023, 06:38 IST
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