Saturday, February 22, 2025
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काशी विश्वनाथ में सावन पर श्रद्धालुओं के लिए खास तैयारियां, सोमवार को वीआईपी भी नहीं कर सकेंगे स्पर्श


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काशी विश्वनाथ मंदिर में सावन में आने वाले श्रद्धालुओं के लिए खास तैयारियां हो रही हैं। वीआईपी भी सोमवार को गर्भगृह में शिवलिंग का स्पर्श नहीं कर सकेंगे। वे आम दर्शनार्थियों की तरह द्वार से जलाभिषेक व दुग्धाभिषेक करेंगे। जिला प्रशासन प्रदेश के मुख्य सचिव व इलाहाबाद हाईकोर्ट के रजिस्ट्रार हाईकोर्ट को पत्र लिखकर उक्त निर्णय से अवगत कराएगा। अनुरोध करेगा कि वीआईपी सोमवार के बजाय दूसरे दिनों में आएं। इसके अलावा मंदिर प्रशासन सावन के दौरान सुगम दर्शन और मंगला आरती के टिकट सीमित संख्या में जारी करने पर विचार कर रहा है ताकि अनावश्यक भीड़ का दबाव न रहे। मंगलवार को विश्वनाथ धाम में प्रशासनिक और पुलिस अधिकारियों की बैठक में सावन की व्यवस्थाओं के संबंध में कई निर्णय लिए गए।

इस बार सावन चार जुलाई से आरंभ होकर 31 अगस्त तक चलेगा। इस अवधि में पंचक्रोशी परिक्रमा, नाग पंचमी, मोहर्रम, रक्षाबंधन और स्वतंत्रता दिवस आदि पर्व भी होंगे। इसे देखते हुए अफसरों ने सभी व्यवस्थाओं पर बिंदुवार मंथन किया। मंडलायुक्त कौशल राज शर्मा कहा कि धाम के कंट्रोल रूम का संचालन अधिकारी खुद संभालें, कर्मचारियों के भरोसे न छोड़ें। इसके लिए अधिकारियों की संख्या बढ़ा ली जाए। उन्होंने नगर निगम को धाम परिसर, उसके आसपास की सड़कों और गलियों में सफाई, सीवर के साथ पेयजल की समुचित व्यवस्था कराने का निर्देश दिया। 

प्रमुख फैसले

धाम के सभी चारों गेट से दर्शनार्थियों का धाम में प्रवेश और निकास होगा। दशाश्वमेध शॉपिंग प्लाजा में स्वास्थ्य विभाग का कंट्रोल सेंटर बनेगा। मेला क्षेत्र और मंदिर के सभी मार्गों पर पब्लिक एड्रेस सिस्टम रहेगा।एड्रेस सिस्टम से कई भाषाओं में सूचनाएं प्रसारित होंगी। श्रद्धालुओं की सुविधा के लिए विश्वनाथ धाम परिसर में 04 बड़ी स्क्रीन लगेंगी। इस पर गर्भगृह से लाइव प्रसारण होता रहेगा। 07 स्थानों पर सूचना प्रसारण सिस्टम लगाया जाएगा। 3 शिफ्टों में सफाईकर्मी लगाए जाएंगे ताकि कूड़ा-कचरा उठान तत्काल हो।

मैदागिन से गोदौलिया नो वेहिकल जोन

मैदागिन और गोदौलिया को पूरे सावन में नो वेहिकल जोन रहेगा। इस मार्ग पर लोग पैदल ही आ जा सकेंगे। दिव्यांगजनों, वृद्धजनों को लिए ई-रिक्शा चलेंगे। वीआईपी के लिए गोल्फकार्ट की सुविधा रहेगी। मंदिर परिसर में महिला सिपाहियों की पर्याप्त संख्या में तैनाती के निर्देश दिए गए। वहीं, गर्भगृह में सुरक्षाकर्मियों की ड्यूटी में कुछ घंटों पर बदलाव होता रहेगा ताकि व्यवस्था चलती रहे।

कमिश्नर ने कहा कि मंदिर प्रशासन के सभी अधिकारियों व कर्मचारियों के लिए आईकार्ड अनिवार्य होगा। बताया कि  उन्होंने कहा कि यह सभी तैयारियां तीन जुलाई तक पूर्ण कर लें। बैठक में डीएम एस. राजलिंगम समेत कई अफसर मौजूद थे।

पांच जोन और 12 सेक्टर में बांटा गया शहर

सुरक्षा व्यवस्था के लिहाज से मंदिर क्षेत्र तथा शहर को पांच जोन, 12 सेक्टरों में बांटा गया है। जोन की जिम्मेदारी एडिशनल एसपी, सेक्टर की जिम्मेदारी डीएसपी रैंक के अधिकारी पर रहेगी। मेला क्षेत्र में  एक हजार उप निरीक्षक और सिपाहियों की तैनाती होगी। पीएसी और पैरा मिलिट्री फोर्स अलग से तैनात रहेगी। मंदिर के प्रमुख मार्गों पर ड्रोन से निगरानी रहेगी। हेल्प डेस्क लगाए जाएंगे। पानी पिलाने और सहायता के लिए सामाजिक संगठनों की मदद ली जाएगी। 



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