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हिन्दुस्तान टाइम्स लीडरशिप समिट 2023 में आखिरी दिन दो मेहमान एक टीम के तौर खेल जगत से भी आए। ये कोई और नहीं, बल्कि धाकड़ बैडमिंटन प्लेयर चिराज शेट्टी और सात्विकसाईराज रेंकीरेड्डी थे। इन दोनों का खेल आपको कोर्ट पर अलग-अलग देखना है तो आपको वो स्पार्क नजर नहीं आएगा, लेकिन साथ में जब ये कोर्ट पर आते हैं तो फिर विरोधियों पर आग की तरह बरसते हैं। इन दोनों खिलाड़ियों ने HTLS में कई मुद्दों पर बात की।
चिराज और सात्विक से जब इस समिट में ये पूछा गया कि आपने बैडमिंटन डबल्स क्यों चुना तो इस पर पहले चिराग ने जवाब दिया। वर्ल्ड नंबर वन मेंस डबल्स प्लेयर का हिस्सा चिराग बोले, “डबल्स क्यों नहीं? हम हमेशा बहुत सारे सिंगल्स प्लेयर प्रकाश (पादुकोण) सर, गोपी (पुलेला गोपीचंद) सर, साइना (नेहवाल), (पीवी) सिंधु, प्रणय, श्रीकांत के साथ देश में रहे हैं। हमारे पास ऐसे महान लोग नहीं हैं, जिन्होंने डबल्स चुने हों और शीर्ष पांच या इससे ऊपर जगह बनाई हो। ज्वाला (गुट्टा) और अश्विनी (पोणप्पा) अच्छे थे। हमने डबल्स को इसलिए नहीं चुना, क्योंकि हम पैसा कमाना चाहते थे। हमें उतना अच्छा भुगतान नहीं मिला। डबल्स के प्रति हमारे अंदर हमेशा से जुनून था। हमारे पास हमेशा वह उत्साह था जो डबल्स खेलने के लिए मुख्य बात थी।”
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इसी सवाल के जवाब में सात्विक ने कहा, “मैं हमेशा से डबल्स प्लेयर बनना चाहता था। मैंने हमेशा सुना है कि भारत में डबल्स प्लेयर नहीं हैं। टीम स्पर्धाओं में भारत हार जाता था। यही मेरा मोटो था। मैं उसे बदलना चाहता था। धीरे-धीरे चीजें बदलने लगीं। मेरे और चिराग के लक्ष्य समान थे। सिंगल्स एक प्रकार से बोरिंग है, लेकिन डबल्स एक्साइटिंग है।” चिराज ने ये भी कहा कि हम कभी भी जीत के बाद संतुष्ट नहीं होते। हम आगे भी जीतना चाहते हैं और जीत के भूखे रहते हैं। पेरिस ओलंपिक खेलों को लेकर चिराज ने कहा, “उम्मीदें बढ़ी हैं और यह अच्छा है, लेकिन हमें इसे बहुत सकारात्मक तरीके से देखने की जरूरत है। कुछ साल पहले किसी को भी डबल्स से कोई उम्मीद नहीं थी। हम जाएंगे और अपना सर्वश्रेष्ठ प्रदर्शन करेंगे और पदक लेकर लौटेंगे।”
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