Patna:
2024 लोकसभा चुनाव से पहले पूरे देश में नागरिकता संशोधन अधिनियम लागू हो चुका है. केंद्र की मोदी सरकार की तरफ से इसे लेकर नोटिफिकेशन भी जारी कर दिया गया है. वहीं, अब CAA को लेकर विपक्ष और पक्ष की प्रतिक्रिया सामने आ रही है. बीजेपी के दिग्गज मुस्लिम नेता शाहनवाज हुसैन ने इसपर अपनी प्रतिक्रिया देते हुए इसे मोदी सरकार का बड़ा फैसला बताया है. सोशल मीडिया साइट एक्स पर ट्वीट करते हुए शाहनवाज हुसैन ने लिखा कि मोदी सरकार ने सीएए लागू करने की घोषणा कर दी है. यह 2019 घोषणापत्र का ही एक हिस्सा था और सीएए किसी की भी नागरिकता नहीं छीनता. यह पाकिस्तान, बांग्लादेश और अफगानितस्तान से आए प्रताड़ित धार्मिक अल्पसंख्यकों को भी नागरिकता का अधिकार देगा. यह देश की धर्मनिरपेक्ष साख के अनुरूप है.
#ModiGovt announces implementation of Citizenship Amendment Act.
It was an integral part of #BJP’s 2019 manifesto. #CAA DOES NOT take away anyone’s citizenship. It gives citizenship to persecuted religious minorities of Pakistan, Bangladesh and Afghanistan.
It is completely…
— Syed Shahnawaz Hussain (मोदी का परिवार) (@ShahnawazBJP) March 11, 2024
वहीं, जेडीयू के दिग्गज नेता केसी त्यागी ने सीएए को लेकर कहा कि केंद्र सरकार ने आश्वासन दिया है कि इस कानून के लागू होने से किसी की भी नागरिकता समाप्त नहीं होगी. जो तीन देशों के अल्पसंख्यक हैं, जो 2014 से पहले भारत में आकर बस गए, उन्हें नागरिकता दी जाएगी. ये अधिनियम लोकसभा और राज्यसभा दोनों से पास हो चुका है और कानून बन चुका है.
2019 में भी हो चुका है पारित
आपको बता दें कि सीएए 2019 में पारित किया गया था. जिसके बाद राष्ट्रपति ने भी इस अधिनियम को मंजूरी दे दी थी, लेकिन दिल्ली के शाहीन बाग समेत देश के कई जगहों पर इसका भारी विरोध प्रदर्शन किया गया था. जिस वजह से इन प्रदर्शनों के चलते सीएए लागू नहीं हो पाया.
क्या है CAA?
2019 नागरिकता संशोधन अधिनियम एक अधिनियम है, जो 11 दिसंबर, 2019 को पारित किया गया था. 1955 के नागरिकता अधिनियम सीएए 2019 में बदलाव किया गया. इस अधिनियम के तहत हिंदू, बौद्ध, सिख, पारसी, जैन और ईसाई धार्मिक अल्पसंख्यकों को भारतीय नागरिकता की अनुमति दी गई, जो 2014 से पहले धार्मिक उत्पीड़न की वजह से पड़ोसी देशों से भारत आए थे.
CAA से किसे होगा फायदा?
सीएए लागू होने से सबसे ज्यादा फायदा भारत के पड़ोसी देशों में रह रहे लोगों को होगा, जिन्हें धर्म के आधार पर परेशान किया जा रहा है. इसमें पाकिस्तान, बांग्लादेश व अफगानिस्तान से आए लोग शामिल है. ऐसे लोगों को CAA लागू होने से आसानी से नागरिकता मिल जाएगी.