Home National देश में हर 250 वें व्‍यक्ति का नाम राम, जानिए ओवर ऑल वर्ल्‍ड लिस्‍ट में क्‍या स्‍थान  

देश में हर 250 वें व्‍यक्ति का नाम राम, जानिए ओवर ऑल वर्ल्‍ड लिस्‍ट में क्‍या स्‍थान  

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देश में हर 250 वें व्‍यक्ति का नाम राम, जानिए ओवर ऑल वर्ल्‍ड लिस्‍ट में क्‍या स्‍थान  

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List of popular names: ‘श्री’ और ‘राम’ नाम की गूंज उत्तर प्रदेश में ही नहीं, पूरे देश में है। देश में हर 250 वें व्यक्ति का नाम ‘राम’ है। हिन्दी नामों में सबसे ऊपर जहां ‘श्री’ है वहीं दूसरे स्थान पर राम नाम है। फोरबीयर्स डॉट इन की आधिकारिक साइड से मिली जानकारी के अनुसार ‘श्री’ का पहला नंबर है, जो ओवर ऑर वर्ल्ड लिस्ट में 45 वें नंबर पर है। इस नाम के 64,73,133 लोग हैं। दूसरे नंबर पर राम नाम है। इस नाम के लोगों की संख्या 57,43,057 है। वहीं विश्व में इस नाम के लोगों की संख्या 73 लाख से अधिक है। विश्व की रैकिंग में यह 83 वें नंबर पर है। इसके अलावा सबसे पापुलर नाम अनीता है, जो देश की रैंकिंग में 63वें स्थान पर है। इसके बाद रीता का नंबर आता है, जो लिस्ट में 75वें नबंर पर है।

इनकी संख्या 46 लाख 42 हजार 146 है। टॉप 100 नामों में सुनीता नाम भी शामिल है। 85वें नंबर पर सुनीता नाम की कुल 41 लाख, 10 हजार 579 महिलाएं हैं। बात करें सीता की तो इस नाम की बेहद कम महिलाएं हैं। इस नाम से पूरे देश में महज 1.47 लाख महिलाएं और युवतियां हैं। अपने देश के बाद नेपाल में राम नाम के काफी लोग हैं। राम नाम की क्या महिमा है इसका अंदाजा इसी बात से लगा सकते हैं कि पूरे विश्व में भारत समेत इस नाम के 73.16 लाख लोग हैं।

तुलसी का सारा दर्शन काल इस पर आधारित

शास्त्री मनोज पाठक बताते हैं कि उन्होंने खुद ही बीते छह महीने में 50 से अधिक शिशुओं का नामकरण राम के नाम पर किया है। लोगों में इस नाम को रखने की प्रवृत्ति बढ़ी है। राम नाम को भगवान शिव जपते हैं और काशी में राम नाम के प्रताप से मुक्ति देते हैं, राम नाम की महिमा गाते हैं। तुलसी का सारा दर्शन काल इस पर आधारित है। राम नाम जपने से ब्रह्मपद की पदवी प्राप्त होती है, राम नाम का स्मरण करने से गणपति पहले पूजे जाते हैं।

राम नाम रखने की बढ़ी प्रवृत्ति

अयोध्या में जबसे श्रीराम मंदिर के निर्माण पहली ईंट रखी गई थी तभी लोगों में इस नाम को धारण करने की आस्था खूब बढ़ी है। शास्त्री पं. शरद चंद मिश्रा बताते हैं कि उनके पास नामकरण के लिए आने वाले अधिकतर लोगों में प्रभु के नाम को धारण करने की प्रवृति लगातार बढ़ रही है। लोग चिंटू, मिंटू, गोलू की जगह राम उपनाम रख रहे हैं।

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