प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने शनिवार को अपने संसदीय क्षेत्र वाराणसी को इंटरनेशनल क्रिकेट स्टेडियम की सौगात दी। वाराणसी प्रयागराज मार्ग पर राजातालाब के गंजारी गांव में पीएम मोदी ने क्रिकेट की जानी मानी हस्तियों की उपस्थिति में स्टेडियम का शिलान्यास किया। इस दौरान पीएम मोदी ने कहा कि खेल को लेकर अब समाज की सोच बदली है। अब माता पिता भी स्पोर्ट्स को लेकर गंभीर हुए हैं। अब देश का मिजाज ऐसा बना है कि जो खेलेगा वहीं खिलेगा।
पीएम मोदी ने कहा कि आज दुनिया के नए-नए देश क्रिकेट खेलने के लिए आगे आ रहे हैं। आने वाले समय में क्रिकेट मैचों की संख्या बढ़ने जा रही है। क्रिकेट मैच बढ़ेगे तो स्टेडियम की जरूरत भी होगी। पूरे पूर्वांचल का चमकता सितारा होगा। यह यूपी का पहला स्टेडियम होगा जिसमें बीसीसीआई के सहयोग होगा। पीएम मोदी ने कहा कि जब खेल का इंफ्रास्ट्रक्चर बनता है तो केवल खेल ही नहीं, सभी को फायदा होता है। इससे होटल वालों, दुकानदारों, रिक्शा, नाव चलाने वालों को सभी को फायदा होता है। स्पोर्ट्स मैनेजमेंट के नए अवसर पैदा होते हैं। हमारे युवा स्पोर्ट्स से जुड़ी पढ़ाई कर सकेंगे। एक समय था, जब माता पिता बच्चों इस बात के लिए डांटते थे, हमेशा खेलते रहोगे क्या।
पीएम मोदी ने कहा कि 9 वर्ष पहले की तुलना में इस वर्ष केंद्रीय खेल बजट तीन गुना बढ़ाया गया है। खेलो इंडिया प्रोग्राम के बजट में तो पिछले वर्ष की तुलना में लगभग 70% की वृद्धि की गई है। जब से इस स्टेडियम की तस्वीरें बाहर आई है, उन्हें देखकर हर काशीवासी गदगद हो गया है। महादेव के नगरी में ये स्टेडियम और इसकी डिजाइन स्वयं महादेव को ही समर्पित है। इसमें किक्रेट के एक से बढ़कर एक मैच होंगे।
सचिन तेंदुलकर समेत तमाम हस्तियां रहीं मौजूद
क्रिकेट स्टेडियम के शिलान्यास के दौरान प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी के साथ खास मेहमान के तौर पर भारत रत्न सचिन तेंदुलकर, बीसीसीआई सचिव जयेश शाह, अध्यक्ष रोजर बिन्नी, उपाध्यक्ष राजीव शुक्ला, सुनील गावस्कर, कपिल देव, रवि शास्त्री, दिलीप वेंगसरकर, करसन घावरी, मदनलाल, गुंडप्पा विश्वनाथ, गोपाल शर्मा, शुभांगी कुलकर्णी, नीतू डेविड के अलावा प्रभारी मंत्री जयवीर सिंह, खेलमंत्री गिरीश यादव, जिलाध्यक्ष एवं एमएलसी हंसराज विश्वकर्मा, जिला पंचायत अध्यक्ष पूनम मोर्या, विधायक टी. राम मंचासिन रहे।
देश के कोने-कोने में खेल प्रतिभाएं खोज रही सरकार
हमारे छोटे शहरों में टैलेंट है। इन्हें ज्यादा से ज्यादा मौके देने के लिए खेल इंडिया से देश के कोने कोने में टैलेंट की खोज हो रही है। उनके लिए सरकार हर कदम उठा रही है। आज यहां कई खिलाड़ी मौजूद हैं। इन लोगों ने स्पोर्ट्स में देश का नाम किया है। आज खिलाड़ियों को आगे बढ़ाने के लिए अच्छे कोच और कोचिंग का होना बहुत जरूरी है। सरकार अच्छी कोचिंग की व्यवस्था भी कर रही है। जो खिलाड़ी बड़ी प्रतियोगिता में हिस्सा लेकर आते हैं, उन्हें कोच बनने के लिए प्रोत्साहित किया जा रहा है। गांव-गांव में आधुनिक खेलों के लिए मौके दे रही है। अब देश के हर कोने में खिलाड़ियों को सुविधाएं देने की कोशिश हो रही है। खेलों इंडिया के तहत स्पोर्ट्स इंफ्रास्ट्रक्चर बनाया जा ररहा है। उसका लाभ बेटियों को होगा।।
नई नेशनल एजुकेशन पॉलिसी में खेल को किया शामिल
नई नेशनल एजुकेशन पॉलिसी में खेल को उसी कैटेगरी में रखा गया है जैसे साइंस, मैथ हो। पहले एक्सट्रा एक्टिवीटी में रखा जाता था। अब खेल को मेन विषय की तरह पढ़ाया जा रहा है। स्पोर्ट्स यूनिवर्सिटी बनी है। यूपी में भी हजारों करोड़ रुपए खेल की सुविधाओं के विस्तार पर खर्च किया जा रहा है। यह न सिर्फ खेलों के लिए बल्कि देश की साख के लिए भी महत्वपूर्ण है।