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हाइलाइट्स
पितृ पक्ष में पूर्वज पृथ्वी पर अपनी संतान से मिलने आते हैं.
इस दौरान पिंडदान, तर्पण और श्राद्ध करने से पूर्वज प्रसन्न होते हैं.
Pitru Paksha 2023 : सनातन धर्म में पूर्वजों की आत्मा की शान्ति के लिए उनका तर्पण और श्राद्ध करने का विधान है. पितृपक्ष के 15 दिन तक लोग अपने पितरों का पिंडदान करते हैं. मान्यता के अनुसार इन 15 दिनों तक हमारे पितृ पृथ्वी पर आते हैं और अपने परिजनों के बीच रह कर अन्न-जल ग्रहण करते हैं, साथ ही वे अपने परिजनों से प्रसन्न होकर अपने वंशजों को शुभ समृद्धि का आशीर्वाद भी देते हैं. इस दौरान कुछ ऐसे संकेत भी मिलते जिनसे यह पता चलता है, कि हमारे पितृ हम से नाराज़ हैं, ज्योतिष शास्त्र में बताया गया है, कि एक पौधा लगाकर हम अपने पितरों की नाराज़गी को दूर कर सकते हैं. भोपाल निवासी ज्योतिषी एवं वास्तु सलाहकार पंडित हितेंद्र कुमार शर्मा बता रहे हैं कौन सा है यह पौधा और कैसे अपने पितरों को प्रसन्न किया जा सकता है.
-पितर नाराज हों तो मिलते हैं ये संकेत
यदि किसी व्यक्ति पर पितृदोष लगा हुआ हो तो अथक प्रयास और मेहनत करने के बाद भी उसे उसका सही फल नहीं मिल पाता. ऐसे में व्यक्ति हमेशा तनाव में रहता है और उसकी तरक़्क़ी में बाधाएं आती हैं. पितरों की नाराज़गी का असर घर के सदस्यों पर भी पड़ता है. वैवाहिक जीवन में समस्याएं देखने को मिलती हैं. वहीं अविवाहितों के विवाह में भी कई बाधाएं उत्पन्न होती हैं. पितरों के नाराज़ होने से पूजापाठ का भी शुभ फल नहीं मिल पाता है. पितृदोष की वजह से ही बुरे सपने आते हैं और सपनों में बार बार पूर्वज नज़र आते हैं. पितृदोष की वजह से कई बार लोगों को संतान की समस्या का सामना भी करना पड़ता है.
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-तुलसी के पौधे से किया जाने वाला उपाय
ज्योतिष शास्त्र के अनुसार पितृपक्ष में पितरों का श्राद्ध, तर्पण और पिंडदान किया जाता है. इसके अलावा और भी कई ऐसे उपाय हैं जिनको करने से पितृ प्रसन्न होते हैं. इन्हीं उपायों में से एक है तुलसी के पौधे का उपाय. ज्योतिष शास्त्र में बताया गया है कि तुलसी के इस उपाय को करने से हमारे पितृ हम से प्रसन्न रहते हैं, और श्राद्ध, तर्पण और पिंडदान के बराबर फल की प्राप्ति भी होती है. पितृपक्ष के 15 दिनों की अवधि में इस उपाय को कभी भी किया जा सकता है, लेकिन ध्यान में रखना चाहिए कि इन 15 दिनों के अंदर एकादशी और रविवार ना पड़ रहे हो.
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-तुलसी पर चढ़ाएं गंगाजल
शिव पुराण के अनुसार श्राद्ध पक्ष में घर का कोई भी सदस्य तुलसी का यह उपाय आसानी से कर सकता है. इसके लिए तुलसी के गमले के पास 1 कटोरी रख दें. अब अपनी हथेली में गंगा जल लेकर पांच या सात बार अपने पितरों के नाम का ध्यान करें, और बाबा विश्वनाथ का नाम लेकर गंगाजल इस कटोरी में छोड़ दें. अब हाथ जोड़कर माता तुलसी और पितरों का ध्यान करें. गंगाजल को आप बाद में किसी पौधे में डाल सकते हैं. ऐसा करने से घर की नकारात्मक ऊर्जा समाप्त होती है, और पितरों का तर्पण और पिंडदान के बराबर का फल प्राप्त होता है.
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Tags: Astrology, Dharma Aastha, Pitru Paksha, Religion
FIRST PUBLISHED : September 10, 2023, 02:40 IST
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