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हाइलाइट्स
15 जनवरी को मकर संक्रांति पर सबसे पहले स्नान करें. गंगा स्नान करेंगे तो बहुत उत्तम होगा.
सूर्य देव को अर्घ्य देने के बाद सूर्य स्तुति करें. उनकी कृपा से जीवन के दुख दूर होंगे.
इस साल मकर संक्रांति का महापर्व 15 जनवरी को है. उस दिन रवि योग सुबह 07:15 एएम से सुबह 08:07 एएम तक है. रवि योग में सूर्य देव का प्रभाव अधिक होता है, जिसमें दोष दूर होते हैं और कार्य सफल होंगे. मकर संक्रांति के दिन 02:54 एएम पर सूर्य देव मकर राशि में प्रवेश करेंगे. मकर संक्रांति का महा पुण्यकाल 07:15 एएम से 09:00 एएम तक रहेगा. ऐसे में आपको मकर संक्रांति वाले दिन सूर्योदय से लेकर सुबह 09:00 एएम के बीच कुछ आसान उपाय करने चाहिए, जिससे आपको सूर्य देव की कृपा प्राप्त हो सके और घर आपका धन-धान्य से भर जाए. इस बारे में जानते हैं काशी के ज्योतिषाचार्य चक्रपाणि भट्ट से.
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1. स्नान और सूर्य अर्घ्य
15 जनवरी को मकर संक्रांति के अवसर पर सबसे पहले स्नान करें. गंगा स्नान करेंगे तो बहुत उत्तम होगा. यदि संभव न हो तो घर पर ही पानी में गंगाजल डालकर स्नान कर लें. उसके बाद लाल या पीले रंग के वस्त्र पहनें. फिर सूर्य देव को अर्घ्य दें.
सूर्य देव को अर्घ्य देने के लिए एक तांबे के लोटे में पानी भर लें. फिर उसमें लाल चंदन, गुड़ और लाल गुड़हल का फूल या लाल रंग का कोई फूल डाल दें. फिर सूर्य देव के किसी भी एक मंत्र का उच्चारण करते हुए अर्घ्य दें. मकर संक्रांति के अलावा प्रतिदिन सूर्य देव को अर्घ्य दे सकते हैं. इससे सूर्य देव प्रसन्न होंगे और आपके करियर में उन्नति होगी.
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2. सूर्य स्तुति
मकर संक्रांति पर सूर्य देव को अर्घ्य देने के बाद सूर्य स्तुति करें. उनकी कृपा से जीवन के दुख दूर होंगे. सेहत अच्छी रहेगी और आपके घर में धन और अन्न की कभी कमी नहीं होगी.
सूर्य स्तुति पाठ
जय कश्यप नंदन, ओम जय अदिति नंदन।।
त्रिभुवन तिमिर निकंदन, भक्त हृदय चंदन॥
जय कश्यप नंदन…
सप्त अश्वरथ राजित, एक चक्रधारी।
दु:खहारी, सुखकारी, मानस मल हारी॥
जय कश्यप नंदन…
सुर मुनि भूसुर वंदित, विमल विभवशाली।
अघ-दल-दलन दिवाकर, दिव्य किरण माली॥
जय कश्यप नंदन…
सकल सुकर्म प्रसविता, सविता शुभकारी।
विश्व-विलोचन मोचन, भवबंधन भारी॥
जय कश्यप नंदन…
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कमल समूह विकासक, नाशक त्रय तापा।
सेवत साहज हरत अति मनसिज-संतापा॥
जय कश्यप नंदन…
नेत्र व्याधि हर सुरवर, भू पीड़ा हारी।
वृष्टि विमोचन संतत, परहित व्रतधारी॥
जय कश्यप नंदन…
सूर्यदेव करुणाकर, अब करुणा कीजै।
हर अज्ञान मोह सब, तत्त्वज्ञान दीजै॥
जय कश्यप नंदन…
3. मकर संक्रांति का दान
मकर संक्रांति के अवसर पर आप सूर्य पूजा करने के बाद काले तिल, गुड़, गेहूं या सप्तधान्य, गरम कपड़े, कंबल, घी, तांबे के बर्तन या तांबा, सोना आदि का दान करें. काले तिल के दान से आपको सूर्य और शनि दोनों का ही आशीर्वाद प्राप्त होगा क्योंकि मकर शनि देव का घर है और मकर संक्रांति पर सूर्य देव उसमें विराजमान होंगे.
मकर संक्रांति पर शनि देव ने सूर्य देव को काले तिल दिए थे, इससे प्रसन्न होकर सूर्य देव उनके घर को धन—धान्य से भर दिया. मकर संक्रांति पर दान करने से कुंडली का सूर्य दोष दूर होता है.
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Tags: Astrology, Dharma Aastha, Makar Sankranti, Makar Sankranti festival
FIRST PUBLISHED : January 11, 2024, 09:15 IST
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