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माइक्रोनेशिया के राष्ट्रपति के चीन पर बड़े आरोप, कहा- चुप रहने के लिए दी गई रिश्वत

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माइक्रोनेशिया के राष्ट्रपति के चीन पर बड़े आरोप, कहा- चुप रहने के लिए दी गई रिश्वत

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बीजिंग : माइक्रोनेशिया के राष्ट्रपति ने अपने देश की संसद को लिखे एक विस्फोटक पत्र में चीन पर रिश्वतखोरी, उत्पीड़न और ‘राजनीतिक युद्ध’ का आरोप लगाया है। न्यूज एजेंसी एएफपी ने अपनी रिपोर्ट में इसकी जानकारी दी है। निवर्तमान नेता डेविड पैनुएलो ने सांसदों को चेतावनी दी, ‘सीधे शब्दों में कहें तो हम अपने देश में राजनीतिक युद्ध देख रहे हैं।’ उन्होंने चीनी जासूसी, सरकारी अधिकारियों, सरकारी अधिकारियों की जबरदस्ती और उनकी व्यक्तिगत सुरक्षा को ‘सीधे खतरे’ के आरोपों के बारे में विस्तार से बताया।

सबसे पहले यह जान लेते हैं कि दुनिया के नक्शे पर माइक्रोनेशिया कहां है? नीचे तस्वीर में लाल घेरे के भीतर नजर आ रहा छोटा रेड डॉट माइक्रोनेशिया देश है। पैनुएलो ने पहले दक्षिण प्रशांत क्षेत्र में बीजिंग की बढ़ती शक्ति के बारे में चिंता व्यक्त की थी। वह खासकर एक सुरक्षा सौदे के खिलाफ थे जो चीनी सैनिकों को इस क्षेत्र में तैनात करने की अनुमति दे सकता था। लेकिन उनका पत्र इससे काफी आगे की बात करता है। उन्होंने आने वाली सरकार को कई खतरों के बारे में चेतावनी दी है।

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‘हमें चुप रहने के लिए दी गई रिश्वत’

उन्होंने कहा, ‘चीन ने हमारी संप्रभुता को कमजोर करने, हमारे मूल्यों को खारिज करने और अपने मतलब के लिए हमारे वरिष्ठ अधिकारियों का इस्तेमाल करने की क्षमता का प्रदर्शन किया था।’ बड़े आरोपों के बीच पैनुएलो का दावा है कि उनके अपने कैबिनेट सहयोगियों ने द्विपक्षीय बैठकों की रिकॉर्डिंग सीधे चीन को भेजी थी। उन्होंने कहा, ‘हमें मिलीभगत के लिए रिश्वत दी गई, चुप रहने के लिए रिश्वत दी गई। यह एक बड़ा शब्द है लेकिन यह एक सटीक विवरण है।’

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‘दो चीनियों ने किया पीछा’

पैनुएलो ने कहा, ‘आप इसे और क्या कह सकते हैं जब एक अधिकारी को पीआरसी (पीपुल्स रिपब्लिक ऑफ चाइना) दूतावास में खाने के बाद पैसों से भरा एक लिफाफा दिया जाता है?’ उन्होंने यह भी कहा कि पिछली जुलाई में फिजी में एक मीटिंग में हिस्सा लेने के दौरान ‘दो चीनियों’ ने उनका पीछा किया था। पैनुएलो ने दावा किया कि दोनों दूतावास के अधिकारी थे और एक की बाद में चीनी सेना के ‘खुफिया अधिकारी’ के रूप में पहचान की गई थी।

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