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मुख्यमंत्री सहायता कोष में दान इकट्ठा करने के मामले में एकनाथ शिंदे अपने 2 पूर्ववर्तियों से पीछे हैं। महाराष्ट्र के पिछले दो मुख्यमंत्रियों की तुलना में शिंदे कोई विशेष दान लेकर नहीं लाए हैं। इस साल इसमें केवल 65.88 करोड़ रुपये ही इकट्ठा हुए। मुख्यमंत्री सचिवालय की ओर से RTI कार्यकर्ता अनिल गलगली को डेटा मुहैया कराया गया है। इससे पता चलता है कि मुख्यमंत्री रहते हुए उद्धव ठाकरे और देवेंद्र फडणवीस ने सीएम असिस्टेंस फंड में काफी बढ़ोतरी की थी।
मुख्यमंत्री सचिवालय के सहायक लेखा अधिकारी संजय तांबे ने अनिल गलगली को उनके सवालों के जवाब दिए। इसमें उन्होंने बताया कि 1 अप्रैल, 2022 तक शेष राशि 418.88 करोड़ रुपये थी और 31 मार्च, 2023 तक शेष राशि 445.22 करोड़ रुपये थी। मुख्यमंत्री सहायता कोष की सालाना दान की जानकारी 1 जनवरी 2015 से 31 मार्च 2023 तक की उपलब्ध है। मालूम हो कि शिंदे ने 30 जून को मुख्यमंत्री के रूप में एक साल का कार्यकाल पूरा किया। मगर, मुख्यमंत्री सहायता कोष के लिए उन्होंने जितनी राशि जुटाई है, उसे संतोषजनक नहीं कहा जा सकता है।
फडणवीस का रिकॉर्ड रहा बेहद शानदार
देवेंद्र फडणवीस के कार्यकाल में 5 साल के दौरान मुख्यमंत्री सहायता कोष में 614 करोड़ रुपये जमा हुए। उद्धव ठाकरे के शासनकाल में महज 2 साल के भीतर ही 793 करोड़ रुपये आए। वहीं, बीते एक साल में एकनाथ शिंदे केवल 65.88 करोड़ रुपये भी जुटा पाए हैं। पिछले 8 बरसों में जरूरतमंदों की मदद करने के मामले में फडणवीस तीनों मुख्यमंत्रियों से आगे हैं। फडणवीस के सीएम रहते 1,07,782 आवेदन मिले और 63,573 नागरिकों को 598.32 करोड़ रुपये की सहायता दी गई। उद्धव ठाकरे के पास 10,712 आवेदन आए जिनमें से 4,247 नागरिकों को 20.28 करोड़ रुपये की धनराशि मुहैया कराई गई। शिंदे ने 14,566 आवेदनों में से 7,419 नागरिकों को 57 करोड़ रुपये की मदद की है।