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अयोध्या में 22 जनवरी को जब राम मंदिर में भगवान श्रीराम की मूर्ति की प्राण प्रतिष्ठा होगी, उसी समय बरेली के त्रिवटीनाथ मंदिर में भी आस्था का सैलाब उमड़ेगा। त्रिवटीनाथ मंदिर में उस वक्त 108 श्रद्धालु घंटी बजाते हुए आरती करेंगे। यानी श्रद्धालुओं के एक हाथ में पीतल की घंटी होगी तो दूसरे हाथ में दीया। 22 जनवरी की इस महाआरती को भव्य बनाने के लिए मंदिर कमेटी के सदस्य तैयारियों में जुटे हुए हैं।
पूरा देश 22 जनवरी को अपने-अपने तरीके से मनाने में जुटा हुआ है। उस दिन सभी मंदिरों में विशेष पूजन के साथ भजन-कीर्तन का आयोजन किया जा रहा है। ऐसे में नाथ नगरी के त्रिवटीनाथ मंदिर के रामालय में 14 जनवरी से विशेष आयोजन शुरू हो जाएंगे। त्रिवटीनाथ मंदिर कमेटी के मीडिया प्रभारी संजीव औतार अग्रवाल ने बताया कि 14 से 26 जनवरी तक मंदिर और उसके प्रांगण को फूलों और लाइटों से सजाया जाएगा। इसके बाद 17 से 22 जनवरी तक हर भजन कीर्तन के कार्यक्रम होंगे।
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राम के उद्घोष से गूंजा बरेली, पूजित अक्षत शोभायात्रा पर पुष्प वर्षा
अयोध्या से आए पूजित अक्षत का घर-घर वितरण अभियान का शुभारंभ सोमवार को हो गया। राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ के सह प्रांत प्रचारक धर्मेंद्र और विभाग प्रचारक धर्मेंद्र भारत राजेंद्र नगर के श्री नीलकंठ मंदिर से शुरूआत की। राम भक्तों ने शोभायात्रा पर पुष्प वर्षा कर स्वागत किया। 15 जनवरी तक निमंत्रण अभियान चलेगा। सह प्रांत प्रचारक धर्मेंद्र ने कहा कि 22 जनवरी को प्राण प्रतिष्ठा होगी। राम भक्त प्राण प्रतिष्ठा समारोह का हिस्सा बनना चाहते हैं। राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ ने अयोध्या से आए पूजित अक्षत को हर हिंदू परिवार तक पहुंचाने का लक्ष्य है।
नव वर्ष पर देव दर्शन
नव वर्ष के अवसर पर सोमवार को लोगों में विशेष उत्साह रहा। सुबह सवेरे मंदिरों में भगवान के दर्शन कर मंगल कामना की गई। अरुणोदय के वक्त अर्घ्य देने के बाद लोग देव दर्शन को परिवार के साथ निकल पड़े। धर्मस्थलों पर आस्था का मेला सुबह से देर रात तक लगा रहा। सप्त नाथ मंदिरों के साथ ही गांधी उद्यान समेत अन्य स्थलों पर हजारों की भीड़ नजर आई। अलखनाथ, त्रिवटीनाथ, धोपेश्वर नाथ, वनखंडी नाथ समेत बड़ा बाग हनुमान मंदिर में भोर से लंबी कतार लग गई। दोपहर होते-होते मंदिर के मुख्य द्वार के बाहर तक कतार लग गई। हर-हर बम-बम की गूंज के बीच भक्तों ने बाबा के दर्शन किए।