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‘लव जिहाद’ के खिलाफ कानून बनाने को लेकर महाराष्ट्र के डिप्टी सीएम देवेंद्र फडणवीस ने कहा है कि वे पहले दूसरे राज्यों द्वारा बनाए गए कानूनों को देखेंगे फिर इस पर कोई फैसला लेंगे। देवेंद्र फडणवीस का ये बयान श्रद्धा वालकर के पिता विकास वालकर से मुलाकात के बाद आया है। विकास वालकर ने यहां महाराष्ट्र के डिप्टी सीएम से शुक्रवार को मुलाकात की थी।
इसके बाद जब उनसे पूछा गया कि क्या महाराष्ट्र सरकार ‘लव जिहाद’ के खिलाफ कानून बनाएगी। इस पर उपमुख्यमंत्री देवेंद्र फडणवीस ने कहा, “हमने अभी तक कोई निर्णय नहीं लिया है, लेकिन हम इस संबंध में विभिन्न राज्यों द्वारा बनाए गए कानूनों का अध्ययन करेंगे।” बता दें कि भारत के 29 में से कम से कम आठ राज्यों में अब धर्मांतरण विरोधी कानून लागू है। जिन राज्यों में लव जिहाद के खिलाफ कानून लागू है वहां भारतीय जनता पार्टी सत्ता में है।
इस बीच कुछ अन्य राज्य भी इस विवादित कानून को लागू करने पर विचार कर रहे हैं। महाराष्ट्र के उपमुख्यमंत्री और गृह मंत्री देवेंद्र फणडवीस ने कहा है, उनकी सरकार लव जिहाद के कानून पर स्टडी कर रही है कि अलग-अलग राज्यों में इसको लेकर किस तरह के कानून हैं। कुछ दिनों पहले महाराष्ट्र में बीजेपी विधायक राम कदम ने श्रद्धा हत्याकांड की जांच लव जिहाद एंगल से करने की मांग भी की थी। वहीं असम सीएम हिमंत बिस्वा सरमा ने भी श्रद्धा हत्याकांड को लव जिहाद से जोड़ा था। उन्होंने कहा है कि लव जिहाद एक वास्तविकता है और दिल्ली में श्रद्धा वाकर की जघन्य हत्या से ये साबित हो गया है।
इससे पहले फडणवीस के मुलाकात के बाद विकास वालकर ने यहां संवाददाताओं से कहा, “आफताब पूनावाला को मेरी बेटी की हत्या के लिये फांसी दी जानी चाहिए…पूनावाला और जो भी इस मामले में शामिल थे उनके खिलाफ कड़ी कार्रवाई होनी चाहिए।” उन्होंने कहा, “श्रद्धा की शिकायत पर जांच में देरी के लिए वसई और नालासोपारा के पुलिस अधिकारियों और तुलिंज पुलिस (पालघर जिले में) के खिलाफ भी जांच की जानी चाहिए। उन्होंने अगर तुरंत कार्रवाई की होती तो मेरी बेटी अभी जिंदा होती।”
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