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HS Prannoy, Chirag Shetty-Satwiksairaj Rankireddy
डेनमार्क के कोपेनहेगन में जारी वर्ल्ड बैडमिंटन चैंपियनशिप से गुरुवार रात होते-होते भारत के लिए कुछ अच्छी खबरें सामने आईं। इस प्रतियोगिता में भारत के एचएस प्रणय ने पूर्व चैम्पियन सिंगापुर के लो कीन यू को हराकर लगातार तीसरी बार विश्व बैडमिंटन चैम्पियनशिप के क्वार्टर फाइनल में जगह बनाई। वहीं भारत की स्टार जोड़ी सात्विक साईराज रैंकीरेड्डी और चिराग शेट्टी क्वार्टरफाइनल में एंट्री कर ली है। यह जोड़ी इसी के साथ पदक से महज एक कदम दूर है। डबल्स में सेमीफाइनल में पहुंचने वाली जोड़ियों को पदक मिलते हैं। गोल्ड और सिल्वर के अलावा तीसरे व चौथे स्थान की जोड़ियों को कांस्य मिलता है।
वर्ल्ड नंबर 1 से हो सकता है प्रणय का मुकाबला
अगर मेन्स सिंगल्स की बात करें तो इस साल मलेशिया मास्टर्स जीतने और आस्ट्रेलियाई ओपन में उपविजेता रहने वाले दुनिया के नौवें नंबर के खिलाड़ी प्रणय ने प्री क्वार्टरफाइनल में 21-18, 15-21, 21-19 से जीत दर्ज की। अब उनका सामना दुनिया के नंबर एक खिलाड़ी विक्टर एक्सेलसेन और चीनी ताइपै के चोउ तियेन चेन के बीच होने वाले मैच के विजेता से होगा।
सात्विक-चिराग ने इंडोनेशिया की जोड़ी को हराया
वहीं सात्विक-चिराग की जोड़ी ने इंडोनेशिया के लियो रॉली कारनांडो और डेनियल मार्थिन पर तीन गेम में जीत हासिल की। सात्विक-चिराग ने राउंड 16 मैच में पिछड़ने के बाद वापसी करते हुए 10वीं रैंकिंग पर काबिज इंडोनेशियाई जोड़ी को एक घंटे से ज्यादा समय में 21-15, 19-21, 21-9 से पराजित किया। इस जोड़ी का सामना अगले दौर में डेनमार्क के किम अस्ट्रूप और एंडर्स स्कारूप रासमुसेन की जोड़ी तथा ओंग यियू सिन और टियो ई यि की मलेशियाई जोड़ी के बीच मुकाबले के विजेता से होगा।
त्रिसा और गायत्री ने किया निराश
इससे पहले भारतीय जोड़ी त्रिसा जॉली और गायत्री गोपीचंद महिला डबल्स क्वार्टर फाइनल के कड़े मुकाबले में चीन की चेन किंग चेन और जिया यि फान से हारकर बाहर हो गईं। यह जोड़ी सेमीफाइनल में पहुंचकर पदक पक्का कर सकती थी लेकिन ऐसा हो नहीं पाया। दुनिया की 19वें नंबर की भारतीय जोड़ी पिछले दो सत्र में आल इंग्लैंड चैम्पियनशिप के सेमीफाइनल में पहुंची थी लेकिन अपने से मजबूत प्रतिद्वंद्वी का सामना नहीं कर सकी। उन्हें 42 मिनट के भीतर चीनी जोड़ी ने 21-14, 21-9 से सीधे गेम में हराया। दोनों जोड़ियों के बीच यह दूसरा ही मुकाबला था। पिछले साल जर्मन ओपन में भी दुनिया की नंबर वन चीनी जोड़ी ने भारतीय जोड़ी को हराया था।
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