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आशुतोष तिवारी/रीवा: बघेलखंड दुनिया भर में लजीज बघेली जायके के लिए भी मशहूर है, लेकिन ऐसा नहीं है कि यहां सिर्फ बघेली जायका ही मिलता है. बल्कि, बघेलखंड के रीवा में उम्दा खानपान के लिए सिंधी समाज का एक पकवान भी खासा लोकप्रिय है. इस पकवान को दाल-पापड़ कहा जाता है.
रीवा के सब्जी मंडी स्थित जानकी पार्क में एक मिठाई दुकान है, जहां सुबह से ही दाल पापड़ खाने वालों की लाइन लगती है. यहां मिलने वाले दाल पापड़ को लोगों द्वारा काफी पसंद किया जाता है. इस होटल का नाम गोप सुनील स्वीट्स है. सिंधी समाज का मशहूर व्यंजन कोकोनट बर्फी भी यहां मिलती है. जिसे भी खासा पसंद किया जाता है.
20 रुपये में भरपेट दाल-पापड़
सुनील गोप स्वीट्स में महज 20 रुपये में भरपेट दाल पापड़ मिलता है. पापड़ का साइज इतना बड़ा होता है कि एक पापड़ खाते ही पेट भर जाता है. वैसे तो शहर के अलग-अलग हिस्सों में लगभग आधा दर्जन जगहों पर दाल-पापड़ मिलता है, लेकिन जितना लाजवाब स्वाद गोप सुनील स्वीट्स के दाल-पापड़ में है, वैसा स्वाद कहीं और नहीं है. 55 वर्षों से यह स्वाद लोगों के दिलों पर राज कर रहा है. यही वजह है कि शहर के जानकी पार्क स्थित इस दुकान में सुबह 9 बजे से शौकीनों की कतार लग जाती है. यह सिलसिला रात तक चलता रहता है.
तीन भाइयों ने शुरू की थी दुकान
आजादी के बाद बड़ी संख्या में सिंधी समाज के लोग देश के अलग-अलग शहरों में पलायन कर बस गए थे. रीवा में भी भारी संख्या में सिंधी समाज के लोग आए. समय के साथ-साथ इन्होंने व्यापार भी किया. दुकान मालिक अनिल ठारवानी ने बताया कि तकरीबन 55 वर्ष पहले उनके पिता लालकृष्ण ठारवानी ने दो भाइयों भगवानदास और हरकिशन दास के साथ इस दुकान की शुरुआत की थी. शुरुआती दिनों यहां सिर्फ 50 पैसे में दाल पापड़ खिलाया जाता था.
ऐसे बनता है दाल पापड़
आगे बताया, आज मैं और मेरे बड़े भाई महेश ठारवानी इस दुकान की देख-रेख करते हैं. अब यहां 20 रुपये में दाल पापड़ लोगों को खिलाया जाता है, जिसे लोग काफी पसंद करते हैं. यहां मिलने वाली कोकोनट बर्फी, गुलाब जामुन और ढोकला भी लोग काफी पसंद करते हैं. दाल-पापड़ वैसे तो मैदे से बने पापड़ और छिली मूंग से बनी दाल का व्यंजन है. इस विशेष जायके का स्वाद बढ़ाने के लिए इसमें हींग, अजवाइन और काला नमक भी मिलाया जाता है.
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Tags: Food 18, Local18, Rewari News, Street Food
FIRST PUBLISHED : February 12, 2024, 08:01 IST
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