Monday, December 16, 2024
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हाथ-पैर सुन्न होना हो सकता है इन बीमारियों के लक्षण, तुरंत कर लें निदान


हाइलाइट्स

गर शरीर में विटामिन बी 12 की कमी हो जाए, तो भी हाथ-पैर में सुन होने के लक्षण देख सकते है.
कीमोथेरेपी या अल्कोहल के कारण बने टॉक्सिन से भी हाथ-पैर में सुन्नापन आ सकता है.

Numbness is sign of Diabetes alcohol disorder: कई बार हाथ-पैर सुन्न हो जाता है. इन जगहों पर कुछ महसूस नहीं होता. कुछ समय बाद अपने आप यह सही भी हो जाता है. इसलिए अधिकांश लोग हाथ-पैर में सुन्नपन को नजरअंदाज कर देते है. लेकिन हाथ-पैर का सुन्न होना कई बीमारियों के संकेत हो सकते हैं. अगर शुरू में इसकी पहचान कर ली जाए तो इलाज कराने में आसानी होता है. दरअसल, सुन्नापन नर्व के डैमेज होने, दब जाने या इरीटेशन होने की वजह से हो सकता है. इससे एक सिंगल नर्व भी प्रभावित हो सकता है और बहुत सारे नर्व भी. यह बैक में स्लिप डिस्क के कारण भी हो सकता है और कार्पेल टनेल सिंड्रोम के कारण भी हो सकता है.

मायो क्लिनिक के मुताबिक कई बीमारियां और कीमोथेरेपी या अल्कोहल के कारण बने टॉक्सिन से भी हाथ-पैर में सुन्नापन आ सकता है. इसमें नर्व फाइबर पैर तक प्रभावित हो जाता है. ऐसे में जैसे ही नर्व डैमेज होता है वैसे पैर तक सुन्नापन होने लगता है.

सुन्नापन्न होता क्यों है

हमारे शरीर में 96 हजार किलोमीटर का नर्व यानी तंत्रिका तंत्र होता है जिससे हर तरह के सिंग्लन पूरे शरीर में इधर से उधर होता है. आमतौर पर दिमाग और स्पाइल कॉर्ड के बाहर वाले नर्व जब डैमेज होता है तब सुन्नापन होता है. इसमें प्रभावित नर्व सिग्नल नहीं पहुंचाता है जिसके कारण हाथ, पैर, बांह और पैरों की ऊंगलियों में कुछ भी महसूस नहीं होता है. कुछ सुन्नापन दर्द के साथ भी महसूस हो सकता है जबकि अधिकांश सुन्नापन्न में कुछ भी महसूस नहीं होता. हालांकि इस तरह के सुन्नापन जीवन के लिए घातक स्थिति नहीं होती है जैसा कि स्ट्रोक और ट्यूमर में होता है.

इन बीमारियों के कारण हो सकता है सुन्नापन्न

हाथ और पैर में सुन्नापन्न के लिए कई बीमारियां जिम्मेदार हो सकती है. यह डायबिटीज के कारण भी हो सकता है. डायबिटेकि न्यूरोपैथी में ब्लड शुगर की अधिकता नर्व को डैमेज करने लगता है. इसके अलावा अल्कोहल यूज डिसॉर्डर, एमिलॉयडोसिस, टूथ डिजीज, मल्टीपल स्क्लेरोसिस, पोरफायरिया, रेनॉड्स डिजीज जैसी लाइफस्टाइल से संबंधित बीमारियों में भी नर्व डैमेज हो जाता है जिसके कारण हाथ-पैर में सुन्नता आ जाती है. इसके अलावा ब्रेन ट्यूमर और स्ट्रोक की स्थिति में भी हाथ-पैर सुन्न होने लगता है. लेप्रोसी, लाइम डिजजी, सिफलिस, कीमोथेरेपी और एचआईवी की दवा के साइड इफेक्ट के कारण भी हाथ-पैर में सुन्नापन्न आ जाता है. अगर शरीर में विटामिन बी 12 की कमी हो जाए, तो भी हाथ-पैर में सुन होने के लक्षण देख सकते है.


कैसे करें इसका इलाज

जैसा कि पहले बताया जा चुका है कि हाथ-पैर में सुन्नापन के कई कारण जिम्मेदार हो सकते हैं. इसलिए खुद से यह नहीं समझा जा सकता कि किस बीमारी की वजह से यह हो रहा है. ऐसे में डॉक्टर अन्य लक्षणों के आधार पर कुछ टेस्ट की सलाह देते हैं, इस आधार पर पता लगाया जा सकता है कि हाथ-पैर में सुन्नापन के क्या कारण है. इसलिए अगर हाथ-पैर में सुन्नापन या झनझनाहट बार-बार हो रही है, तो तुरंत डॉक्टर से संपर्क करें.

Tags: Health, Health tips, Lifestyle



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