हाइलाइट्स
जो लोग व्रत रखते हैं, वे नहाय खाय से छठ पूजा की शुरूआत करते हैं.
इस दिन सात्विक भोजन करते हैं ताकि तन और मन से शुद्ध हो.
आज का शुभ समय: सुबह 11:44:28 बजे से दोपहर 12:27:15 बजे तक.
आज 17 नवंबर शुक्रवार से छठ महापर्व का शुभारंभ हुआ है. छठ पूजा का पहला दिन नहाय खाय है. जो लोग व्रत रखते हैं, वे नहाय खाय से छठ पूजा की शुरूआत करते हैं. इस दिन सात्विक भोजन करते हैं ताकि तन और मन से शुद्ध हो. इस व्रत में साफ-सफाई का बहुत ध्यान रखना होता है. नहाय-खाय कार्तिक माह के शुक्ल पक्ष की चतुर्थी तिथि को होता है, पंचमी को खरना और षष्ठी को शाम के समय डूबते सूर्य को अर्घ्य देते हैं. सप्तमी तिथि को उगते सूर्य को अर्घ्य देते हैं. आज सुबह 06:45 बजे से भद्रा है, वहीं रवि योग देर रात 01 बजकर 17 मिनट से लगेगा. काशी के ज्योतिषाचार्य चक्रपाणि भट्ट से जानते हैं छठ पूजा के पहले दिन के शुभ मुहूर्त और नहाय खाय के नियम के बारे में.
नहाय खाय 2023 के शुभ मुहूर्त
कार्तिक शुक्ल चतुर्थी तिथि का प्रारंभ: 16 नवंबर, गुरुवार, दोपहर 12:34 बजे से
कार्तिक शुक्ल चतुर्थी तिथि का समापन: 17 नवंबर, शुक्रवार, सुबह 11:03 बजे तक
आज का शुभ समय: सुबह 11:44:28 बजे से दोपहर 12:27:15 बजे तक
नहाय खाय के दिन सूर्योदय: सुबह 06:45 बजे
नहाय खाय के दिन सूर्यास्त: शाम 05:27 बजे
रवि योग: देर रात 01:17 बजे से कल सुबह 06:46 बजे तक
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नहाय खाय 2023 के अशुभ समय
भद्रा: सुबह 06:45 बजे से सुबह 11:03 बजे तक
राहुकाल: सुबह 10:46 बजे से दोपहर 12:06 बजे तक
छठ पूजा 2023: नहाय खाय में क्या होता है?
नहाय खाय वाले दिन व्रती सुबह में स्नान ध्यान से निवृत होते हैं. इस दिन व्रती को साफ कपड़े पहनना चाहिए. दैनिक पूजा पाठ करते हैं. फिर उनको भोजन के लिए लौकी की सब्जी, चने की दाल, सेंधा नमक, चावल और मूली दिया जाता है. आज व्रती को सिर्फ यही खाना होता है. रात के खाने में भी यही भोजन मिलता है. नहाय खाय के दिन भोजन करने से पहले गणेश जी और सूर्य देव को भोग लगाते हैं. फिर स्वयं भोजन ग्रहण करते हैं. फिर अगले दिन खरना होगा.
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जो लोग व्रत रखते हैं, उनको नहाय खाय के दिन से सात्विक जीवन व्यतीत करना होता है. उनको पान, तंबाकू, शराब, मांस आदि जैसी तामसिक वस्तुओं से दूरी बनाकर रखनी होती है. ब्रह्मचर्य के नियमों का सख्ती से पालन करना होता है. व्रती को छठ पूजा में बिस्तर पर सोना मना होता है. नहाय खाय के दिन से घाटों की साफ-सफाई होती है. छठी मैया के स्थान को सजाया जाता है.
छठ पूजा कैलेंडर 2023
नहाय-खाय: 17 नवंबर, दिन शुक्रवार
लोहंडा और खरना: 18 नवंबर, दिन शनिवार
छठ पूजा, संध्या अर्घ्य: 19 नवंबर, दिन रविवार
उगते सूर्य को अर्घ्य, पारण: 20 नवंबर, दिन सोमवार
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Tags: Bihar Chhath Puja, Chhath Mahaparv, Chhath Puja, Dharma Aastha
FIRST PUBLISHED : November 17, 2023, 06:31 IST