ADM Kaise Bane: हम में से अधिकांश लोग ADM शब्द तो सुना ही होगा, लेकिन बहुत ही कम लोगों को इसके बारे में अच्छे से पता है. आमतौर पर ADM को एडिशनल डिस्ट्रिक्ट मजिस्ट्रेट या उप समाहर्ता भी कहा जाता है. इस पद के लिए सीधी भर्ती नहीं होती है. जिले ADM कुछ मामलों में DM के समान पावर रखते हैं. जब कभी भी जिले में DM नहीं होता है, तो उसके अनुपस्थिति में ADM ही पूरा कार्यभार संभालता है. कई बार जिले में DM के पास अधिक काम होता है, तो कुछ कामों को ADM को सौंपा जाता है. लेकिन ज्यादातर ADM पूरे जिले का रेवेन्यू से संबंधित कार्यों का निपटान करते हैं. अगर आप में से कोई भी ADM के पद पर नौकरी करना चाहते हैं, तो उन्हें चयन प्रक्रिया से संबंधित तमाम जानकारी के बारे में जानना चाहिए.
UPSC और PCS के जरिए होता है चयन
IAS अधिकारी और PCS अधिकारी बनना लाखों युवाओं का सपना होता है. इसे भारत में और राज्यों में सबसे प्रतिष्ठित करियर में से एक माना जाता है. IAS अधिकारी के रूप में करियर विभिन्न चुनौतियों और जिम्मेदारियों के साथ आता है. जब किसी उम्मीदवार का चयन UPSC के जरिए होता है, तो उसमें से जिसका अच्छा रैंक होता है, उसे IAS कैडर दिया जाता है. जब कोई IAS ऑफिसर अपना ट्रेंनिंग पूरा करके ज्वाइन करता है, तब उन्हें किसी राज्यों में SDM के तौर पर नियुक्त किया जाता है. इसके बाद कई सालों तक काम करने के बाद उन्हें ADM (Additional District Magistrate) के पद पर प्रमोट किया जाता है. ठीक ऐसे ही जब PCS ऑफिसर अपना ट्रेनिंग पूरा करके आते हैं, तब उन्हें आम तौर पर सब डिवीजनल मजिस्ट्रेट (SDM) के तौर पर कार्यभार दिया जाता है. बाद में फिर इसे सिटी मजिस्ट्रेट पर प्रमोट किया जाता है इसके बाद ही उन्हें ADM या एडिशनल डिस्ट्रिक्ट मजिस्ट्रेट के रूप में प्रमोशन दिया जाता है. अधिकांश जिलों में ADM के दो से तीन पद हैं, उनमें से सबसे आम ADM (सिटी), ADM (वित्त/राजस्व) और ADM (एक्जीक्यूटिव) हैं.
ADM बनने के लिए पास करना होता है यह परीक्षा
ADM के पदों पर सीधी नियुक्ति नहीं होती है. यह प्रमोशन से बनने वाला पद होता है. लेकिन यहां तक पहुंचने के लिए सबसे पहले आपको UPSC या राज्यों द्वारा आयोजित होनी वाली PCS की परीक्षा पास करनी होती है. हर साल UPSC सिविल सेवा परीक्षा और राज्य सिविल सेवा परीक्षा आयोजित की जाती है. इसके लिए उम्मीदवारों को प्रीलिम्स, मेंस और इंटरव्यू की परीक्षा को पास करना होता है. इसके बाद ही ADM बनने के पहले पड़ाव को पार किया जाता है.
ADM बनने के लिए योग्यता
ADM के पदों तक पहुंचने के लिए आयोजित होने वाली परीक्षा के लिए उम्मीदवारों को किसी भी स्ट्रीम से 50 प्रतिशत अंकों के साथ ग्रेजुएट होना चाहिए. सामान्य वर्ग के उम्मीदवार 32 वर्ष की आयु तक 6 प्रयासों के लिए योग्य हैं. ओबीसी श्रेणी से संबंधित उम्मीदवार 35 वर्ष की आयु तक नौ प्रयासों के लिए योग्य हैं. अनुसूचित जाति / अनुसूचित जनजाति वर्ग से संबंधित उम्मीदवार 37 वर्ष की आयु तक जितनी बार चाहें उतनी बार परीक्षा दे सकते हैं. वहीं विभिन्न राज्यों में राज्य सिविल सेवा परीक्षा के लिए आयुसीमा अलग-अलग हो सकते हैं.
ADM को मिलने वाली सैलरी और जिम्मेदारियां
ADM सतर्कता अधिकारी के रूप में कार्य करने और अनधिकृत भूमि कब्जाधारियों को बेदखल करने के लिए जिम्मेदार है. वह कलेक्टर, एडिशनल कलेक्टर, एडिशनल रेवेन्यू कलेक्टर के रूप में कार्य करता है. वह जिला आपदा प्रबंधन समिति (DDMC) के CEO के रूप में भी कार्य करता है. एक ADM, डिप्टी सेक्रेटरी या अंडरसेक्रेटरी के समान रैंक का अधिकारी होता है, जिसके पास आम तौर पर पांच से आठ साल का अनुभव होता है. उनका मासिक सैलरी लगभर 67,700 रुपये होता है.
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FIRST PUBLISHED : March 03, 2023, 06:10 IST