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रिपोर्ट: सोनिया मिश्रा
Anusuya Devi Temple Chamoli: देश और दुनिया में जहां मेडिकल साइंस की प्रगति ने संतान पाने के लिए टेस्ट ट्यूब बेबी जैसी टेक्नोलॉजी का विकास किया है. वहीं, संतान प्राप्ति के लिए आज भी लोगों की देवी-देवताओं के प्रति आस्था कम नहीं हुई है. ऐसा ही एक आस्था का केंद्र उत्तराखंड के चमोली जिले की मंडल घाटी में मध्य हिमालय क्षेत्र में स्थित है, जिसे श्रद्धालु सती शिरोमणि मां सती अनुसूया मंदिर (Anusuya Temple Chamoli) के नाम से जानते हैं. मंडल घाटी के ऋषिकुल पर्वत पर स्थित महर्षि अत्री की पत्नी मां अनुसूया देवी का मंदिर स्थित है. मंदिर के गर्भगृह में देवी की भव्य मूर्ति स्थापित है. माना जाता है कि इस मंदिर में मां अनुसूया देवी के पूजन से महिलाओं की सूनी गोद भरती है.
धार्मिक मान्यताओं के अनुसार, मां अनुसूया के सतीत्व के प्रभाव से त्रिदेव ब्रह्मा, विष्णु और महेश को यहां बाल रूप धारण करना पड़ा था, जो बाद में दत्तात्रेय के नाम से विख्यात हुए. इसके चलते मां अनुसूया को संतानदायिनी के रूप में जाना और पूजा जाता है. यूं तो सालभर मंदिर में पूजा-अर्चना और देवी के दर्शनों के लिए देश और दुनिया से श्रद्धालु व निःसंतान दंपति पहुंचते हैं, लेकिन मार्गशीर्ष माह में दत्तात्रेय जयंती पर मां अनुसूया के दरबार में विशेष पूजा-अनुष्ठान का आयोजन किया जाता है. मान्यता के अनुसार, इस अनुष्ठान में पूजा-अर्चना करने वाले निःसंतान दंपति को संतान की प्राप्ति होती है.
मंदिर के पुजारी प्रदीप सेमवाल ने कहा,’ मां सती अनुसूया के संतानदायिनी होने का प्रमाण यह है कि यदि चमोली और आसपास के जनपदों में देखें, तो बड़ी संख्या में स्थानीय लोगों द्वारा वरदान से प्राप्त पुत्रों का नाम देवी के नाम पर अनुसूया रखा गया है.’
वहीं, अनुसूया महिला मंगल दल की अध्यक्ष रेखा बिष्ट ने कहा कि मां अनुसूया के संतानदायिनी होने के चलते हर साल काफी संख्या में निःसंतान दंपति यहां पहुंचते हैं. बड़ी संख्या में लोगों को यहां संतान का वर प्राप्त हुआ है. ऐसे में यहां लोग संतान प्राप्ति के बाद भी वर्षभर पूजा अनुष्ठान के लिए पहुंचते हैं.
कैसे पहुंचे मां अनुसूया देवी मंदिर?
चमोली जिले में जिला मुख्यालय गोपेश्वर पहुंचने के बाद आप 13 किलोमीटर दूर मंडल तक आसानी से पहुंच सकते हैं. यहां तक वाहन सुविधा उपलब्ध है. मंडल से पांच किलोमीटर पैदल चढ़ाई चढ़कर मां अनुसूया देवी के मंदिर तक पहुंचा जा सकता है. (नोट: इस खबर में दी गई सभी जानकारियां और तथ्य मान्यताओं के आधार पर हैं. NEWS18 LOCAL किसी भी तथ्य की पुष्टि नहीं करता है.)
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Tags: Chamoli News, Hindu Temples, Uttarakhand news
FIRST PUBLISHED : December 12, 2022, 10:34 IST
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