नई दिल्ली. पश्चिम बंगाल और ओडिशा, इस साल (2023) में आने वाले पहले चक्रवात मोचा के लिए तैयारी कर रहे हैं. भारत मौसम विज्ञान विभाग (IMD) ने आने वाले दिनों में इस क्षेत्र में भारी बारिश और तेज हवाओं की भविष्यवाणी की है. भारत मौसम विज्ञान विभाग (IMD) ने चेतावनी दी है कि सोमवार को बंगाल की खाड़ी के ऊपर बने निम्न दबाव के क्षेत्र के बुधवार को चक्रवात में बदलने की संभावना है. मोचा नाम यमन द्वारा एक लाल सागर बंदरगाह शहर के बाद सुझाया गया था, जिसके बारे में कहा जाता है कि उसने 500 साल से भी पहले दुनिया में कॉफी पेश की थी.
भारत मौसम विज्ञान विभाग के महानिदेशक मृत्युंजय महापात्र ने कहा कि चक्रवाती तूफान शुरू में 11 मई तक उत्तर-उत्तरपश्चिम से मध्य बंगाल की खाड़ी की ओर बढ़ेगा और फिर उसकी दिशा बदल जाएगी और वह उत्तर-पूर्वोत्तर में बांग्लादेश-म्यांमार तट की ओर बढ़ेगा. इसको देखते हुए मछुआरों, जहाजों और छोटी नावों को दक्षिण-पूर्व बंगाल की खाड़ी में नहीं जाने को कहा गया है. अनुमान के मुताबिक यहां दक्षिण-पूर्व बंगाल की खाड़ी में 70 किमी प्रति घंटे की रफ्तार से बारिश और तेज़ हवाएं चलने की उम्मीद है.
दक्षिणी राज्यों में बारिश होने की उम्मीद
मौसम कार्यालय ने कहा कि जैसे ही चक्रवात मोचा आगे बढ़ेगा. दक्षिणी राज्यों में बारिश होने की उम्मीद है और अंडमान और निकोबार द्वीप समूह में मंगलवार को बहुत भारी बारिश होने की संभावना है.
समुद्र की सतह का तापमान 26.5 डिग्री सेल्सियस से ऊपर हो तब
भारत मौसम विज्ञान विभाग के अनुसार, “चक्रवात तूफान” या “चक्रवात” वातावरण में एक तीव्र भंवर है जिसके चारों ओर बहुत तेज हवाएं चलती हैं. ‘चक्रवात’ शब्द की उत्पत्ति ग्रीक शब्द “साइक्लोस” से हुई है, जिसका अर्थ है साँप का कुंडलित होना. चक्रवात तब बनते हैं जब समुद्र की सतह का तापमान 26.5 डिग्री सेल्सियस से ऊपर हो जाता है और आमतौर पर अपने साथ अत्यधिक हवाएं और भारी वर्षा लाते हैं जिसके परिणामस्वरूप तटीय क्षेत्रों में बाढ़ सहित बड़े पैमाने पर विनाश हो सकता है.
चक्रवातों के नामकरण से चेतावनी देने में मदद
दिलचस्प बात यह है कि चक्रवातों को पश्चिम में हरिकेन और टाइफून और ऑस्ट्रेलिया में “विली-विलीज़” भी कहा जाता है. संख्याओं या वैज्ञानिक नामों की तुलना में याद रखने में आसान होने के अलावा, चक्रवात का नामकरण इससे प्रभावित क्षेत्रों में रहने वाले लोगों को शीघ्र चेतावनी देने में मदद करता है. दुनिया भर में चक्रवातों का नाम छह क्षेत्रीय विशेष मौसम विज्ञान केंद्रों (RSMCs) और पांच उष्णकटिबंधीय चक्रवात चेतावनी केंद्रों (TCWCs) द्वारा रखा गया है. भारत मौसम विज्ञान विभाग (IMD) उनमें से एक है. 2000 में, भारत, बांग्लादेश, म्यांमार, मालदीव, ओमान, ईरान, सऊदी अरब, यमन, पाकिस्तान, श्रीलंका और थाईलैंड सहित देशों के एक समूह ने एशिया और प्रशांत क्षेत्र में चक्रवातों का नाम देना शुरू किया.
चक्रवात मोचा के नाम के पीछे क्या है मतलब?
यमन द्वारा इस चक्रवात का नाम मोचा रखा गया है, जो उसने लाल सागर पर स्थित एक बंदरगाह शहर पर सुझाया था. कहा जाता है कि इसी शहर ने 500 साल से भी पहले दुनिया में कॉफी पेश की थी.
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Tags: Cyclone, Heavy rain alert, IMD alert, IMD forecast
FIRST PUBLISHED : May 09, 2023, 05:30 IST