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Google ने Android एंटीट्रस्ट रूलिंग को भारत के सुप्रीम कोर्ट में चुनौती दी, जानें पूरा मामला

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Google ने Android एंटीट्रस्ट रूलिंग को भारत के सुप्रीम कोर्ट में चुनौती दी, जानें पूरा मामला

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गूगल (फाइल)- India TV Hindi

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गूगल (फाइल)

Google challenges Android Antitrust Ruling in Supreme Court: दुनिया की जानी-मानी कंपनी गूगल ने भारत के एंटीट्रस्ट वॉचडॉग के उस फैसले को सुप्रीम कोर्ट में चुनौती दी है, जिसमें अमेरिकी कंपनी को मार्केट में एंड्राइड उपकरणों को बदलावों के साथ लाने पर मजबूर किया गया है। दरअसल  भारतीय प्रतिस्पर्धा आयोग (CCI) ने अक्टूबर 2022 में अल्फावेट Inc (GOOGL.O) इकाई पर Android के लिए बाजार में अपनी प्रमुख स्थिति का फायदा उठाने के आरोप में  $161 मिलियन डॉलर का जुर्माना लगाया था। यह भारत में 97 फीसदी स्मार्टफोन को शक्ति प्रदान करता है और यूएस के लिए एक प्रमुख विकास क्षेत्र है।

सीसीआइ के फैसले के खिलाफ गूगल ने न्यायाधिकरण में भी अपील की थी, लेकिन बुधवार को गूगल की एंटीट्रस्ट रूलिंग को ब्लॉक करने के उसके अनुरोध को खारिज कर दिया गया। कंपनी ने तर्क दिया था कि सीसीआई के निर्देशों के कार्यान्वयन से उसके लंबे समय से चले आ रहे व्यापार मॉडल और उपभोक्ता हितों को नुकसान होगा। मगर न्यायाधिकरण ने कुल जुर्माने की 10 फीसदी राशि चुकाने को कहा था। इससे गूगल को करारा झटका लगा था। न्यायाधिकरण (ट्रिब्यूनल) के इस फैसले को अब गूगल ने शनिवार को सुप्रीम कोर्ट में चुनौती दी है।

सुप्रीम कोर्ट से गूगल को आखिरी उम्मीद


गूगल ने सुप्रीम कोर्ट में दायर की गई इस कानूनी चुनौती को CCI के फैसले को रोकने की अपनी आखिरी उम्मीद के रूप में मानता है, जिसके निर्देश कंपनी को 19 जनवरी को अपना बिजनेस मॉडल किक बदलने के लिए मजबूर करते हैं। गूगल ने सुप्रीम कोर्ट में फैसले को चुनौती देने वाली याचिका दायर कर दी है। हालांकि कोर्ट ने अभी सुनवाई की कोई तारीख तय नहीं की है। मगर माना जा रहा है कि सर्वोच्च अदालत गूगल की इस अपील पर सुनवाई कर सकती है।

सीसीआइ ने दिया था यह फैसला

CCI ने अक्टूबर में फैसला सुनाया था कि गूगल को अपने  प्ले स्टोर के लाइसेंसिंग को “Google खोज सेवाओं, क्रोम ब्राउज़र, YouTube या किसी अन्य Google एप्लिकेशन को प्री-इंस्टॉल करने की आवश्यकता से नहीं जोड़ा जाएगा। साथ ही गूगल को अपना बिजनेस मॉडल किक 19 जनवरी तक बदलना होगा। अब गूगल भारत के इस निर्णय से चिंतित है, क्योंकि दिए गए उपायों को एंड्रॉइड मोबाइल डिवाइस निर्माताओं पर गैरकानूनी प्रतिबंध लगाने के यूरोपीय आयोग के ऐतिहासिक 2018 के फैसले की तुलना में अधिक व्यापक के रूप में देखता है। गूगल ने उस मामले में रिकॉर्ड 4.3 अरब डॉलर के जुर्माने को चुनौती दी है।

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