Home Education & Jobs NEET : बिहार के इन 3 मेडिकल कॉलेजों में MBBS की 360 सीटें, लेकिन अभी तक सिर्फ 26 एडमिशन

NEET : बिहार के इन 3 मेडिकल कॉलेजों में MBBS की 360 सीटें, लेकिन अभी तक सिर्फ 26 एडमिशन

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NEET : बिहार के इन 3 मेडिकल कॉलेजों में MBBS की 360 सीटें, लेकिन अभी तक सिर्फ 26 एडमिशन

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NEET UG Counselling, MBBS Admission : उत्तर बिहार के तीनों मेडिकल कॉलेज छात्रों की पहली पसंद नहीं बन पा रहे हैं। पहले राउंड में एसकेएमसीएच में केवल दो, डीएमसीएच में 18 और जीएमसीएच बेतिया में 6 छात्रों ने दाखिला लिया है। इन तीनों मेडिकल कॉलेजों में एमबीबीएस की 120-120 सीटें हैं। दरअसल, पहले राउंड दाखिले के लिए रिपोर्ट करने वाले कई छात्रों ने दूसरे मेडिकल कॉलेजों के लिए अपग्रेडेशन का विकल्प भर दिया है।

72 में 70 ने कराया अपग्रेड 

एसकेएमसीएच में पहले राउंड के दाखिले के लिए 72 छात्रों ने रिपोर्ट की थी, लेकिन यहां आने के बाद 70 छात्रों ने अपग्रेड के लिए फार्म भर दिया। सिर्फ दो विद्यार्थियों ने एडमिशन के लिए सीट रिजर्व कराई है। एसकेएमसीएच की प्राचार्य प्रो. आभा रानी सिन्हा ने बताया कि अभी ज्यादातर छात्रों ने अपग्रेड का विकल्प भर दिया है। एडमिशन प्रभारी डॉ. अनंत ने बताया कि दूसरे राउंड में छात्रों के आने की उम्मीद है। एसकेएमसीएच के अलावा डीएमसीएच में 73 छात्र पहले राउंड में नामांकन के लिए पहुंचे थे, लेकिन सिर्फ 18 ने दाखिला लिया। बाकी 55 छात्रों ने अपग्रेड का विकल्प डाल दिया। गवर्नमेंट मेडिकल कॉलेज, बेतिया में 82 छात्रों ने रिपोर्ट की थी, लेकिन सिर्फ छह ने दाखिला लिया। 76 ने अपग्रेड भर दिया। शिक्षकों ने बताया कि ज्यादातर छात्रों ने पीएमसएच और एनएमसीएच में अपग्रेड का विकल्प दिया है।

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एनाटॉमी विभाग में प्रयोग के लिए सिर्फ तीन शव

एसकेएमसीएच के एनॉटमी विभाग में प्रयोग के लिए तीन शव ही उपलब्ध हैं। इन्हीं तीनों शव पर 120 छात्रों को डिसेक्शन सिखाया जाता है। दरभंगा मेडिकल कॉलेज में सर्जरी विभाग नर्सिंग कॉलेज के भवन में चल रहा है। बेतिया मेडिकल कॉलेज में संसाधन का अभाव है। एसकेएमसीएच और डीएमसीएच में छात्र और छात्राओं के हॉस्टल जर्जर हो चुके हैं।

एसकेएमसीएच में केवल एक स्थायी प्रोफेसर

उत्तर बिहार के मेडिकल कॉलेजों में प्रोफेसर नहीं हैं। एसकेएमसीएच में सिर्फ एक स्थायी प्रोफेसर हैं। शेष पद खाली हैं। डीएमसीएच में चार प्रोफेसर हैं। गवर्नमेंट मेडिकल कॉलेज, बेतिया में भी दो ही प्रोफेसर हैं। यहां असिस्टेंट और एसोसिएट प्रोफेसर की भी कमी है। एसकेएमसीएच में लंबे समय से शिक्षकों का प्रमोशन नहीं हुआ है। मेडिकल कॉलेज में पीजी की सीटें प्रोफेसर पर ही मिलती हैं। प्रोफेसर नहीं होने से कई विभागों में पीजी की सीट कम या खत्म होने का खतरा भी पैदा हो गया है।

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