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नीट एमडीएस परीक्षा को स्थगित कराने संबंधी याचिका पर बुधवार को सुप्रीम कोर्ट में सुनवाई हुई। सुप्रीम कोर्ट ने इस मामले में गेंद केंद्र के पाले में डाल दी है। कोर्ट ने कहा है कि नेशनल एलिजिबिलिट कम एंट्रेंस टेस्ट ऑफ मास्टर्स इन डेंटल सर्जरी परीक्षा को लेकर कोई भी फैसला केंद्र करें। चीफ जस्टिस ऑफ इंडिया डीवाई चंद्रचूड़ की बेंच में जजों ने कहा कि कुछ समय का इंतजार करें, सरकार इस मामले में देख रही है। कोर्ट ने कटऑफ बढ़ाने के मामले में अपनी कठिनाई बताईहै और कहा कि अच्छा हो कि केंद्र ही इस मामले में फैसला ले।आपको बता दें कि इस परीक्षा के आयोजन के लिए 18 मार्च की तारीख निर्धारित की गईथी। इससे पहले आवेदन 19 फरवरी तक लिए गए थे।
सुप्रीम कोर्ट की पीठ ने क्या कहा
नीट एमडीएस 2024 एग्जाम को स्थगित किए जाने से जुड़ी याचिका पर चीफ जस्टिस डीवाई चंद्रचूड, जस्टिस जेबी पारदीवाला की बेंच ने कहा है कि इस मामले को सुलझाने के लिए केंद्र सरकार को ही हस्तक्षेप करना चाहिए। उन्होंने यह भी कहा है कि इस मामले को एक सप्ताह में निपटा लेना चाहिए। हम इस पर अपनी कोई राय नहीं दे रहे हैं, केंद्र ही इस पर राय दे।
क्या है पूरा मामला
आपको बता दें कि दरअसल नीट एमडीएस को लेकर स्टूडेंट्स ने सुप्रीम कोर्ट में याचिका लगाई थी कि नीट एमडीएस परीक्षा जुलाईतक स्थगित की जाए, इसके अलावा इसमें यह भी कहा गया था कि इस परीक्षा इंटर्नशिप की कटऑफ डेट भी बढ़ाईजाए। इंटर्नशिप पूरी होने के कारण ऐसे करीब 25000 स्टूडेंट्स एग्जाम में नहीं बैठ पाएंगे. क्योंकि एनएमसी द्वारा मेडिकल और डेटल में इंटर्नशिप की लास्ट डेट पूरी होने वाली है।
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