Friday, July 5, 2024
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UPSC CSE : यूपीएससी में बार-बार हो रहे हैं फेल तो क्या करें, चौथी बार में IRS बने अफसर ने बताया


आईएएस, आईपीएस, आईआरएस और आईएफएस अफसर बनने का ख्वाब लेकर हर साल करीब 9 से 10 लाख युवा यूपीएससी सिविल सर्विसेज एग्जाम में बैठते हैं लेकिन इनमें से सिर्फ 15 हजार के आसपास ही मुख्य परीक्षा के लिए क्वालिफाई कर पाते हैं। कइयों से तो कई अटेम्प्ट देने के बाद भी प्रीलिम्स तक नहीं निकलता। जबकि कई अभ्यर्थी ऐसे होते हैं जो पिछले प्रयासों में इंटरव्यू व मेन्स तक पहुंचने के बावजूद प्रीलिम्स में मात खा जाते हैं। आईआरएस अफसर अंजनी कुमार पांडेय ने ऐसे अभ्यर्थियों की उलझन सुलझाने का प्रयास किया है जो अपने शुरुआती प्रयासों में बार बार नाकाम हो रहे हैं। अंजनी कुमार यूपीएससी सिविल सेवा परीक्षा 2009 में 314वीं रैंक हासिल कर आईआरएस अफसर बने थे। 

आईआरएस अफसर अंजनी कुमार ने सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म एक्स पर एक पोस्ट शेयर कर कहा, ‘मैं अपने पहले प्रयास में असफल रहा था क्योंकि मैंने अपना सर्वश्रेष्ठ नहीं दिया था। मैं अपने दूसरे प्रयास में भी असफल रहा यद्यपि कि मैंने बहुत अच्छी पढ़ाई की थी। मैं अपने तीसरे प्रयास में भी असफल हो गया था हालांकि मुझे परीक्षा में रैंक की उम्मीद थी। अपने पिछले तीन प्रयासों से कुछ न कुछ सीखने के बाद मैंने चौथे प्रयास में सफलता प्राप्त की। यूपीएससी या जीवन की किसी भी परीक्षा में असफल होना ठीक है। अंततः चयनित होने वाले अधिकांश अभ्यर्थी पहले प्रयास या अपने किसी भी प्रयास में असफल रहते हैं। वास्तव में 50 प्रतिशत से अधिक को यूपीएससी पास करने के लिए 3 से 4 प्रयास करने पड़ते हैं।

सवाल यह है कि असफल होने के बाद क्या करना चाहिए…. 

1.  अंकों का विश्लेषण – यूपीएससी में मार्क्स आपको आपकी स्थिति और प्रगति के बारे में सूचित करते हैं। पिछले प्रयास में प्राप्त अंकों का विश्लेषण करें और उन क्षेत्रों पर ध्यान केंद्रित करें जिनमें आपको कम अंक मिले हैं। उदाहरण के लिए मुझे सामान्य अध्ययन में कम अंक/ औसत स्कोर मिल रहे थे, तो मैंने सामान्य अध्ययन पर काम किया। मुझे निबंध में हमेशा कम प्रयास से अच्छे अंक प्राप्त होते थे, इसलिए मैंने निबंध में अधिक अंक प्राप्त करने के बारे में सोचा क्योंकि यह मेरा मजबूत क्षेत्र था। उन सभी मजबूत क्षेत्रों पर ध्यान केंद्रित करें जहां आप बहुत कम प्रयासों के साथ बहुत अधिक अंक प्राप्त कर सकते हैं। मैं इतिहास वैकल्पिक और निबंध में बहुत अच्छा स्कोर करता था, इसलिए मैंने अपने सबसे मजबूत क्षेत्रों में उच्चतम स्कोर करने का लक्ष्य रखा।

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2.  मुख्य परीक्षा श्रृंखला और उत्तर अभ्यास – अपनी वास्तविक प्रगति को समझने के लिए मुख्य परीक्षा के लिए एक अच्छी  टेस्ट श्रृंखला आवश्यक है। एक सही कॉपी जांचने वाले गुरु और सही फीडबैक के साथ टेस्ट कॉपी बहुत जरूरी है ताकि कोई वास्तव में अपने उत्तरों पर ईमानदारी से काम कर सके और उत्तर सुधार सके। इसलिए, मुख्य परीक्षा में बैठने से पहले अच्छी तरह से अभ्यास करें और अच्छा लिखें। केवल पढ़ने का कोई मतलब नहीं है, जब आप इसे वास्तविक परीक्षा में दोबारा नहीं दोहरा सकते।

3. आपके उत्तरों की प्रस्तुति –  मुख्य परीक्षा में आप जो भी लिखें उसे अच्छे से प्रस्तुत करना चाहिए।  यूपीएसी में आपको न केवल सभी बिंदुओं को अच्छे से कवर करना होगा, बल्कि यह भी देखना होगा कि आपने सभी बिंदुओं को अच्छे से प्रस्तुत भी किया है। चाहे सामान्य उत्तर लिखें लेकिन सभी बिंदुओं को कवर करना अच्छा है।  उत्तरों को समूहों या बिंदुओं या पैराग्राफों या रेखाचित्रों में प्रस्तुत करना उत्तरों की गुणवत्ता को समृद्ध कर सकता है। एक परीक्षक को यह स्पष्ट रूप से देखने में सक्षम होना चाहिए कि उत्तर में सभी बिंदु शामिल हैं।

4. रखें भाग्य बहादुरों का साथ देता है – यूपीएससी परीक्षा एक जुआ की तरह है। मैं व्यक्तिगत रूप से मानता हूं कि टॉपर और उस व्यक्ति के बीच शायद ही कोई अंतर है जो मेन्स या साक्षात्कार के लिए उपस्थित हुआ लेकिन अंतिम सूची में जगह बनाने में असफल रहा।

 

व्यक्तिपरकता के कारण भाग्य कारक बहुत मायने रखता है। लेकिन यह भी सच है कि प्रयास कई होते हैं और यदि कोई कड़ी मेहनत करता रहता है, तो आम तौर पर एक दिन उसका चयन जरूर होता है या जीवन के किसी और क्षेत्र में सफलता जरूर मिलती है।

यूपीएससी किसी भी अन्य परीक्षा की तरह ही है, और इसे ऐसा ही रहने दें। जिंदगी यूपीएससी से भी बड़ी है. अगर यूपीएससी नहीं हुआ तो कुछ बेहतर आपका इंतजार कर रहा है

… यदि सर्दी आती है, तो क्या वसंत बहुत पीछे रह सकता है…

एक अन्य ट्वीट में आईआरएस अफसर ने लिखा, ‘यूपीएससी परीक्षा कभी भी 3/6/9 महीने में क्लियर नहीं की जा सकती है…. 

1. इस परीक्षा के लिए कम से कम 2 से 3 साल की आवश्यकता होती है, भले ही इस धरती का सबसे तेज़ दिमाग भी इस परीक्षा को देने के लिए आ जाये।

2. कई टॉपर्स पब्लिसिटी एंड अटेंशन ध्यान और प्रचार की चाहत में यह कहते हैं कि “मैंने  सिर्फ 6 महीने पहले पढ़ाई की थी।”  चयन होने के बाद कभी-कभी टॉपर्स जोश में ऐसी बातें कर जाते हैं जो एक मानव स्वभाव है, ऐसी बातों पर बिल्कुल विश्वास मत करिए।

3. यह एक अत्यधिक प्रतिस्पर्धात्मक परीक्षा है। यहां या जीवन में कहीं भी कड़ी मेहनत का कोई विकल्प नहीं है। यह कभी न मानें कि सिर्फ 5-6 घंटे की पढ़ाई आपको यूपीएससी क्लियर करने में मदद करेगी। जून से फरवरी तक रोजाना 8-10 घंटे, मार्च से प्रारंभिक परीक्षा तक प्रतिदिन 10-12 घंटे, मुख्य परीक्षा तक 12-14 घंटे पढ़ना ही पढ़ेगा।



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