हाइलाइट्स
अगर आपके कमर में दर्द महसूस हो रहा है तो पाद्हस्तासन ना करें.
हर सप्ताह आप अपनी क्षमता को धीरे-धीरे बढ़ाने का प्रयास करें.
Yoga Session With Savita Yadav : सूर्य नमस्कार एक ऐसा योगाभ्यास है, जिसे 8 साल के बच्चे से लेकर हर उम्र के लोग कर सकते हैं. अगर आप रोजाना इसका अभ्यास करें तो यह आपके अंदरूनी और बाहरी अंगों को मजबूत बनाता है और शरीर में रक्त संचार को बेहतर रखने में मदद करता है. इसके नियमित अभ्यास से हार्टरेट अच्छा रहता है और आप दिनभर एनर्जी से भरपूर रहते हैं. अगर आप रोज कम से कम 5 चक्र सूर्य नमस्कार का अभ्यास करें तो यह आपके शरीर को मजबूत बनाने में काम आ सकता है. आप धीरे-धीरे इसका अभ्यास बढ़ा सकते हैं, लेकिन इस बात का ध्यान रखें कि पहले सप्ताह ही अधिक चक्र का अभ्यास आपके लिए हानिकारक हो सकता है. आज न्यूज़18 हिंदी के यूट्यूब लाइव सेशन में योग प्रशिक्षिका सविता यादव (Savita Yadav) ने सूर्य नमस्कार का अभ्यास कराया और सावधानियों की विस्तार से जानकारी दी.
इस तरह करें शुरुआत
सबसे पहले अपने मैट पर सुखासन, अर्ध पद्मासन या पद्मासन की मुद्रा में बैठें. अब दोनों हाथों की उंगलियों को इंटरलॉक कर उठाएं और शरीर को ऊपर की तरफ स्ट्रेच करें. 20 तक की गिनती करें और फिर हाथों को नीचे लाते हुए रिलैक्स करें. ध्यान रखें कि आसन के समय सांस को नहीं रोकना है, बल्कि आसन को होल्ड करना है. अब आप ध्यान की मुद्रा बनाएं और आती जाती सांस पर ध्यान केंद्रित कर ओम या मंत्र का पाठ करें. इसके बाद शरीर के हर अंगों को वार्मअप करने के लिए कुछ सूक्ष्मयाम करें. विस्तार से देखने के लिए आप वीडियो लिंक पर क्लिक करें.
सूर्य नमस्कार करने का तरीका
प्रणामासन– आप अपने मैट पर सीधा खड़े हो जाएं और कमर, गर्दन सीधा करते हुए दोनों हथेलियों को आगे की तरह मिलाएं और अंगूठों को गर्दन के बराबर रखते हुए प्रणाम की मुद्रा बनाएं और सूर्य की लालिमा को ध्यान में अनुभव करें. गहरी सांस लें और छोड़ें.
हस्तउत्तनासन– अब गहरी सांस लेते हुए दोनों हाथों को आगे से उठाते हुए सिर के ऊपर ले जाएं और पीछे की तरफ हल्का झुकने का प्रयास करें. इस मुद्रा में थोड़ा होल्ड करें.
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पाद्हस्तासन– अब धीरे-धीरे सांस छोड़ते हुए आगे की ओर पूरी तरह से झुकें और अपने हाथों से पैरों की उंगलियों को छुएं. प्रयास करें कि इस मुद्रा में आपका सिर घुटनों से मिला हुआ हो.
अश्व संचालनासन– अब गहरी सांस लेते हुए अपनी हथेलियों को फर्श पर रखें और एक पैर को पीछे की तरफ ले जाते हुए घुटना जमीन पर रखें. अपनी नजर आगे की तरह रखें और कुछ देर होल्ड करें.
संतुलनासन या दंडासन– अब दोनों पैरों को पीछे की तरफ कर लें और हाथ और पंजों पर पूरा शरीर का वजन रखें. इस दौरान गहरी सांस लेते रहें और होल्ड करें. यह अभ्यास आपके पेट के लिए बहुत फायदेमंद होता है.
अष्टांग नमस्कार– अब धीरे से अपनी हथेलियों, सीना, घुटने, ठोरी को भी जमीन से सटाएं और इसी अवस्था में होल्ड रहें.
भुजंगासन– सांस भरते हुए अब अपनी दोनों हथेलियों को जमीन पर रखते हुए दोनों हाथों के बीच से शरीर का नाभी से उठाने का प्रयास करें.
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अधोमुख शवासन– अब अपने दोनों पैरों को जमीन पर रखते हुए कूल्हे को ऊपर की ओर उठाएं. अपने कंधों को सीधा रखते हुए अपनी नाभी की तरफ देखें. अब पाद्हस्तासन, हस्तउत्तनासन और प्राणामासन करें. आपका एक चक्र पूरा हुआ. आप सुविधानुसार अभ्यास दोहराएं. विस्तार से देखने के लिए वीडियो लिंक पर क्लिक करें.
इन बातों का ध्यान रखें
-अगर आपके कमर में दर्द महसूस है तो पाद्हस्तासन यानी आगे की तरफ पूरी तरह झुकने का प्रयास ना करें. ऐसा करने से दर्द और बढ़ सकता है.
-अगर आपके घुटनों में दर्द है तो आप घुटनों के नीचे तौलिया रखकर इसका अभ्यास करें.
-अगर आप हार्ट पेशेंट हैं तो सूर्य नमस्कार का अभ्यास धीमी गति से करें.
-हार्निया की समस्या हो तो भी विशेषज्ञों की निगरानी में ही इसे करें.
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Tags: Benefits of yoga, Health, Lifestyle, Yoga
FIRST PUBLISHED : January 18, 2023, 09:22 IST