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कुछ समय बाद आपको ईसीजी के लिए किसी ह्रद्य रोग विशेषज्ञ के यहां जाने और जटिल प्रक्रिया से गुजरने की जरूरत नहीं पड़ेगी। अलीगढ़ में एएमयू के छात्र ने डेढ़ साल की मेहनत के बाद मोबाइल ईसीजी डिवाइस तैयार किया है। यह डिवाइस स्मार्ट वॉच और ऑक्सीमीटर की तर्ज पर मोबाइल फोन अथवा लैपटॉप पर आपको आपके दिल की पूरा हाल दिखाएगा। इसके अलावा कोरोना के बाद से चलते-फिरते लोगों की अचानक हार्ट अटैक से मौतों को कम करने में मदद करेगा।
एएमयू के कम्प्यूटर इंजीनियरिंग डिपार्टमेंट की प्रोफेसर सरोश उमर व डॉ. मुनीब हसन खान के निर्देशन में यह रिसर्च किया गया है। एमटेक द्वितीय वर्ष के छात्र समी सऊद ने करीब डेढ साल तक डिवाइस पर काम करने के बाद उसे सफलता हासिल हुई। सऊद ने बताया कि शुरुआत के चार माह में एक हार्डवेयर पर काम किया, लेकिन उसमे किसी कारण वश सफलता प्राप्त नहीं हो सकी। लेकिन हार नहीं मानी। पुन शुरुआत से एक हार्डवेयर तैयार किया।
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चार हजार तक की कीमत में होगी उपलब्ध
एएमयू में तैयार हुई यह डिवाइस अब पेटेंट के लिए भेजी जाएगी। छात्र ने बताया कि डिवाइस बनाने में खर्च 12 हजार रुपये के आसपास आया है। लेकिन पहली बार बनाने में खर्च ज्यादा आता है। लेकिन जब यह बाजार में आएगी तो इसकी कीमत चार हजार रुपये के आसपास की रहेगी।
इस तरह से काम करेगी
डिवाइस से जुड़ी ट्यूब दिल के पास जाकर चिपक जाएगी। डिवाइस को उस समय वहां मौजूद मोबाइल फोन अथवा लैपटाप से ब्लू टूथ से जोड़ लिया जाएगा। इसके बाद आपके दिल का हाल स्क्रीन पर आऩा प्रांरभ हो जाएगा। इस रिपोर्ट की फाइल बनाकर अथवा व्हाटस-एप के माध्यम से चिकित्सक के पास भेजा जा सकता है। यानी घंटों का काम अब मिनटों में हो जाएगा।
गलतियों को दूर किया गया
इस बार देखा कि कहां कहां गलतियां रह गई थी, उनको दूर कर नए सिरे से बनाया गया। सफलता मिलने लगी तो उसको डिजाइन कराया गया। उसके बाद डिवाइस को तैयार कर मरीजो पर टेस्टिंग के लिए भेजा गया। जिसमें डिवाइस के परिणाम ईसीजी मशीन की रीडिंग के बराबर आने लगे। आठ माह तक कई बार हुई जांच में देखा गया कि हॉस्पिटल में जो मशीनें ईसीजी की लगी हैं, उसके मुकाबले यह डिवाइस कितनी सफल व कारगर है। परिणाम सफल निकलकर आये।