Home Education & Jobs बिहार सक्षमता परीक्षा : 3.5 लाख नियोजित शिक्षकों में सिर्फ इतनों ने किया आवेदन, नीतीश सरकार के 3 बड़े ऐलान के बाद भी आज भूख हड़ताल

बिहार सक्षमता परीक्षा : 3.5 लाख नियोजित शिक्षकों में सिर्फ इतनों ने किया आवेदन, नीतीश सरकार के 3 बड़े ऐलान के बाद भी आज भूख हड़ताल

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बिहार सक्षमता परीक्षा : 3.5 लाख नियोजित शिक्षकों में सिर्फ इतनों ने किया आवेदन, नीतीश सरकार के 3 बड़े ऐलान के बाद भी आज भूख हड़ताल

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BSEB Bihar sakshamta pariksha : बिहार में पहली बार नियोजित शिक्षकों के लिए सक्षमता परीक्षा होनी है। एक तरफ नियोजित शिक्षक इसका विरोध भी कर रहे हैं, वहीं दूसरी ओर आवेदन प्रक्रिया चल रही है। सूबे में नियोजित शिक्षकों की संख्या 3.5 लाख के करीब है। अब तक लगभग डेढ़ लाख नियोजित शिक्षकों ने परीक्षा में शामिल होने के लिए आवेदन कर दिया है। परीक्षा 26 फरवरी से निर्धारित है। बिहार बोर्ड ने समक्षता परीक्षा 2024 (प्रथम) के लिए आवेदन की तिथि बढ़ा दी है। नियोजित शिक्षक 19 फरवरी तक परीक्षा शुल्क के साथ ऑनलाइन आवेदन कर सकते हैं। पहले यह तिथि 15 फरवरी थी। परीक्षा 26 फरवरी से निर्धारित है। तीन बार नियोजित शिक्षकों को परीक्षा में सफलता के लिए मौका दिया जाना है। वहीं तीन ऑनलाइन के साथ अब दो ऑफलाइन परीक्षा का भी मौका मिलेगा। बताते चलें कि नियोजित शिक्षक आवेदन करने में दिलचस्पी नहीं दिखा रहे हैं। इसी परीक्षा के जरिए उन्हें राज्यकर्मी का दर्जा दिया जाना है।

14 फरवरी को तीन बजे तक कुल 1,20,882 नियोजित शिक्षक ने आवेदन किया है। इनमें से 1,01,544 लोगों ने फीस जमा कर दिया है। 83,127 आवेदन लंबित है। 682 रिव्यू में और 30 आवेदन डीपीओ से रद्द है। इधर जिला शिक्षा पदाधिकारी अमित कुमार ने बताया कि जिले में करीब 13 हजार नियोजित शिक्षकों की संख्या है। नियोजित शिक्षक आवेदन कर रहे हैं।

तीन बड़े ऐलान

1- परीक्षा के मौके तीन से बढ़ाकर पांच किए गए।

2- उपमुख्यमंत्री सम्राट चौधरी और शिक्षा मंत्री विजय कुमार चौधरी ने कहा कि सक्षमता परीक्षा पास नहीं करने पर किसी की नौकरी पर खतरा नहीं आएगा। सरकार ने अभी इस पर निर्णय नहीं लिया है।

3- आवेदन की अंतिम तिथि बढ़ाकर 19 फरवरी की गई

परीक्षा के विरोध में आज भूख हड़ताल

सक्षमता परीक्षा के विरोध में बिहार राज्य प्राथमिक शिक्षक संघ शुक्रवार को काली पट्टी बांधकर गर्दनीबाग में धरना देंगे। इसके साथ-साथ शिक्षक भूख हड़ताल पर भी रहेंगे। भूख हड़ताल में हजारों शिक्षक शामिल होंगे। शिक्षक संघ के अध्यक्ष बृजनंदन शर्मा ने कहा कि स्थानीय निकाय की ओर से नियुक्त शिक्षकों को बिना परीक्षा लिये बिना शर्त राज्यकर्मी का दर्जा सरकार को देना होगा। कार्यकारी अध्यक्ष मनोज कुमार ने कहा कि हमारे सभी 3.50 लाख विभिन्न निकाय द्वारा नियुक्त शिक्षक दक्षता परीक्षा में उत्तीर्ण है। उन्हें किसी भी परीक्षा को देने की कोई आवश्यकता नहीं है। हम आंदोलन के बल पर उसका मुकाबला करेंगे।

नियोजित शिक्षक धैर्य रखें बहकावे में न आएं विजय

शिक्षा मंत्री विजय कुमार चौधरी ने प्रेस बयान जारी कर नियोजित शिक्षकों को सक्षमता परीक्षा के लिए पांच मौके देने पर मुख्यमंत्री की सहमति की जानकारी दी। उन्होंने बताया कि नियोजित शिक्षकों को राज्यकर्मी बनने के लिए सक्षमता परीक्षा उत्तीर्ण करना है। अभी तक इसके लिए तीन ऑनलाइन परीक्षा का प्रावधान है।

शिक्षकों की तरफ से लगातार मांग की जा रही थी कि ऑनलाइन परीक्षाओं के साथ ऑफलाइन (लिखित) परीक्षा हो, अन्यथा पुराने शिक्षकों को कठिनाई होगी। मुख्यमंत्री ने इनकी परेशानी को देखते हुए उक्त निर्णय लिया है। उन्होंने शिक्षकों से अपील की है कि वे धैर्य रखें और किसी बहकावे में नहीं आएं। कुछ लोग अपना हित साधने के लिए उन्हें उकसा सकते हैं। सरकार उनके हितों का ख्याल रखेगी। हाल के दिनों में शिक्षा व्यवस्था में गुणात्मक सुधार हुआ है तथा सुदूर इलाके के विद्यालय भी पूरे समय तक चलते हैं। इससे सरकारी शिक्षा व्यवस्था में बिहारवासियों का भरोसा बढ़ा है। इसे बरकरार रखने की जरूरत है।

उधर, इस संबंध में बिहार शिक्षक एकता मंच के संयोजक प्रदीप कुमार पप्पू और मीडिया प्रभारी केशव कुमार ने कहा कि हमलोगों की मांग है कि बिना सक्षमता परीक्षा लिये हुए नियोजित शिक्षकों को राज्यकर्मी का दर्जा दिया जाये। हमलोग पूर्व में दक्षता और पात्रता परीक्षा उत्तीर्ण कर चुके हैं।

बिना शर्त राज्यकर्मी का दर्जा देने की मांग

बिहार शिक्षक एकता मंच के प्रतिनिधियों ने गुरुवार को उपमुख्यमंत्री सम्राट चौधरी से प्रदेश भाजपा कार्यालय में मुलाकात की। मंच के संयोजक प्रदीप कुमार पप्पू ने नियोजित शिक्षकों के सक्षमता परीक्षा से संबंधित अपनी विभिन्न मांगों का ज्ञापन सौंपा।

कहा कि ज्ञापन के माध्यम से नियोजित शिक्षकों को बिना सक्षमता परीक्षा के राज्यकर्मी का दर्जा देने की मांग की गई है। साथ ही हम चाहते हैं कि शिक्षकों के तबादले में कोई शर्त न लगाई जाए। शिक्षक नेताओं ने कहा कि उपमुख्यमंत्री सम्राट चौधरी ने हमलोगों से दो दिनों का समय लिया है। आश्वासन दिया कि शिक्षा मंत्री मंत्री से मांगों के संबंध में बात करेंगे। दो दिनों के बाद अगर हमारी मांगों को नहीं माना गया तो हम आगे क्या करना है इसपर निर्णय लेंगे।

शिक्षकों की जायज मांगों को सरकार देखेगी सम्राट

उपमुख्यमंत्री सह प्रदेश भाजपा अध्यक्ष सम्राट चौधरी ने शिक्षकों को भरोसा दिया है कि उनकी जायज मांगों को सरकार देखेगी। जल्द ही कोई निर्णय लिया जाएगा। उन्होंने शिक्षक नेताओं को यह भी आश्वस्त किया कि एक भी शिक्षक की नौकरी नहीं जाएगी और वे इस मसले पर खुद शिक्षा मंत्री से बात करेंगे। गुरुवार को प्रदेश भाजपा कार्यालय में कई शिक्षक संगठन के शिक्षक नेताओं ने उपमुख्यमंत्री से मुलाकात की। लगभग घंटे भर चली इस मुलाकात के दौरान उपमुख्यमंत्री ने शिक्षकों की सभी मांगों को ध्यान से सुना। उन्होंने कहा किमुख्यमंत्री नीतीश कुमार गंभीरता से पूरे मामले को देख रहे हैं। शिक्षा मंत्री ने इस बाबत बयान भी दे दिया है। शिक्षक को लेकर सरकार खुद संवेदनशील है। उपमुख्यमंत्री ने कहा कि सरकार का मकसद शिक्षकों को सशक्त बनाना है। शिक्षक सशक्त होंगे तभी पठन-पाठन के स्तर को और बेहतर किया जा सकता है। इसके लिए सरकार के स्तर पर कुछ काम किए जा रहे हैं। स्थाई बहाली की जा रही है। उन्होंने कहा कि शिक्षकों की पुरानी मांग रही है कि उन्हें राज्यकर्मी का दर्जा दिया जाए। लेकिन राज्यकर्मी का दर्जा देने के साथ ही सरकार यह भी सुनिश्चित करेगी एक भी शिक्षक की नौकरी न जाए।

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